रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने गुरुवार को कनाडा के पूर्व संसद अध्यक्ष को ‘बेवकूफ’ कहा और यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की पर भी तंज कसा. दरअसल, पूर्व स्पीकर एंथोनी रूटा ने दूसरे विश्व युद्ध के दौरान हिटलर की नाजी सेना की ओर से लड़ने वाले व्यक्ति को कनाडा की संसद में सम्मानित किया था. जब दुनियाभर में इसकी आलोचना हुई तो हाउस ऑफ कॉमन्स के अध्यक्ष रोटा को अपने पद से इस्तीफा देना पड़ा. कनाडा के पीएम जस्टिन ट्रूडो को भी इसके लिए माफी मांगनी पड़ी थी.
पुतिन उस घटना का जिक्र कर रहे थे जब 22 सितंबर को, 98 वर्षीय नाजी सैनिक यारोस्लाव हुंका को संसद द्वारा स्टैंडिंग ओवेशन दिया गया, इस दौरान यूक्रेन के राष्ट्रपति वलोडिमिर जेलेंस्की कनाडा की यात्रा पर थे. जेलेंस्की की संसद यात्रा के दौरान, संसद अध्यक्ष एंथोनी रूटा ने अपने जिले के एक बुजुर्ग यूक्रेनी आप्रवासी यारोस्लाव हुंका को नायक के रूप में सम्मानित किया, इसपर सभी ने खड़े होकर तालियां बजाई. हालांकि, रूटा को जब यह पता चला कि हुंका ने हिटलर की सेना के साथ लड़ाई लड़ी है तो उन्होंने इसके लिए माफी मांग ली.पुतिन ने वल्दाई डिस्कशन क्लब की एक बैठक में कहा, “अगर कनाडाई संसद के स्पीकर कहते हैं कि द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान इस कनाडाई-यूक्रेनी या यूक्रेनी-कनाडाई नाजी ने रूसियों के खिलाफ लड़ाई लड़ी थी, तो वह यह समझे बिना नहीं रह सकते कि वह हिटलर की तरफ से लड़े थे. अगर वह नहीं जानते कि हिटलर और उसके गुर्गों ने युद्ध के दौरान रूस के खिलाफ लड़ाई लड़ी थी, तो वह मूर्ख है. इसका मतलब है कि वह स्कूल नहीं गए.”
उन्होंने कहा “यह बिल्कुल अजीब लग रहा था कि सभी ने इस नाजी की सराहना की, खासकर यूक्रेन के राष्ट्रपति ने जिसकी रगों में यहूदी खून है. राजनयिक उथल-पुथल के बाद कनाडाई प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने माफी मांगी. अंग्रेजी समाचार एजेंसी एपी के अनुसार, ट्रूडो ने बुधवार को हाउस ऑफ कॉमंस में प्रवेश करने से पहले कहा, ‘हम सभी जो शुक्रवार को सदन में थे, हमें खड़े होकर तालियां बजाने पर गहरा अफसोस है, भले ही हम संदर्भ से अनभिज्ञ थे. यह दूसरे विश्व युद्ध के नरसंहार में मारे गए लाखों लोगों के सम्मान का एक भयानक उल्लंघन था, और यहूदी लोगों के लिए बेहद दर्दनाक था.’