पीलीभीत पूरनपुर। करोड़ों रुपए की लागत से हो रहे महिला चिकित्सालय के निर्माण कार्य में जमकर अनदेखी की जा रही है। निर्माण फर्म के ठेकेदार मनमानी से कार्य करा रहे हैं। खास बात तो यह है कि निर्माण कार्य जून 2021 में पूरा होना था लेकिन निर्धारित समय का एक साल बीत जाने के बाद भी कार्य अधूरा है। जनप्रतिनिधियों और प्रशासनिक अधिकारियों के निरीक्षण न करने से ठेकेदार निर्माण कार्यों में गुणवत्ता को परे रख बजट को खपाने में लगे हैं। कुछ लोगों का कहना है कि जांच हो तो निर्माण कार्यों में गुणवत्ता की पोल खुल सकती है।
पूरनपुर के मोहल्ला रजागंज देहात में महिला चिकित्सालय के पुराने भवन को ध्वस्त कर 50 बेड के नए भवन का निर्माण फरवरी 2019 में शुरू हुआ था। इस भवन के निर्माण कार्य 7.34 करोड़ रुपए की लागत से होना है। शुरूआत से ही भवन के निर्माण कार्य में जमकर खानापूरी की गई। विधायक बाबूराम पासवान के औचक निरीक्षण में तमाम खामियां उजागर हुई थीं। उस वक्त फर्म पर कार्रवाई भी हुई थी। इससे कुछ दिन तक निर्माण कार्य बंद रहा। हालांकि मामला निपटने के बाद निर्माण कार्य शुरू हुआ। कुछ दिन तक निर्माण फर्म के ठेकेदार ने गुणवत्ता के अनुसार कार्य कराया लेकिन बाद में फिर से पुराना रवैया अपना लिया। करीब एक साल से जनप्रतिनिधियों, प्रशासनिक अधिकारियों और स्वास्थ्य विभाग के किसी भी अफसर ने निर्माण कार्य का निरीक्षण नहीं किया। इससे ठेकेदार और उसके चेले अपनी मनमानी पर कायम रहे। बताते हैं खिड़की बिंडों, टाइल्स, प्लास्तर में जमकर अनदेखी की गई। पुरानी ईटों को भी नए भवन में खपाने की चर्चा है। कुछ लोगों का कना है कि भवन निर्माण की गहनता से जांच हो तो निर्माण कार्यों की पोल खुल सकती है। बताते हैं कि नए भवन का निर्माण कार्य जून 2021 में पूरा होना था लेकिन निर्धारित समय से एक साल बीतने के बाद भी निर्माण कार्य अधूरा है। इससे महिला मरीजों को मिलने वाली चिकित्सीय सेवाएं प्रभावित हैं। विधायक बाबूराम पासवान का कहना है कि महिला चिकित्सालय भवन के निर्माण कार्य को परखने के लिए जल्द निरीक्षण किया जाएगा। अगर कार्यों में अनदेखी की गई है तो कार्रवाई कराई जाएगी।