पीलीभीत में राष्ट्रीय सिख संगठन के बैनर तले सिख समुदाय द्वारा तमाम समस्याओं को लेकर महापंचायत का आयोजन किया गया था। इस कार्यक्रम में शामिल होने के लिए सांसद वरुण गांधी भी पहुंचे थे। कार्यक्रम में भारी तादाद में भीड़ छूटने की आशंका को देखते हुए कई थानों की पुलिस फोर्स मौके पर तैनात की गई। इसके साथ ही अतिरिक्त पीएससी को भी सुरक्षा व्यवस्था का जिम्मा संभालने के लिए लगाया गया। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सांसद वरुण गांधी सिख समुदाय की जमकर तारीफ करते हुए नजर आए। इस दौरान सांसद वरुण गांधी ने एक बार फिर मंच से पंडित जवाहरलाल नेहरू का नाम लिया।
दरअसल, राष्ट्रीय सिख संगठन के बैनर तले सिखों की तमाम समस्याओं को सरकार के समक्ष रखने के लिए राष्ट्रीय सिख महापंचायत का आयोजन रविवार को किया गया था। पहले तो कार्यक्रम स्थल को लेकर जिला प्रशासन आपत्ति लगाकर अनुमति देने के मूड में नहीं था, लेकिन सांसद वरुण गांधी ने सिखों के अनुरोध को देखते हुए प्रशासनिक अधिकारियों से बात की और कार्यक्रम की अनुमति दिलवाई, जिसके बाद वरुण गांधी खुद कार्यक्रम में शामिल होने के लिए पहुंचे। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए वरुण गांधी ने सिख समुदाय की जमकर तारीफ की वरुण गांधी ने कहा यह समुदाय हमेशा अपनी बहादुरी के लिए जाना जाता है मंच से वरुण गांधी बोले मेरी रगों में भी यह खून दौड़ रहा है।
वरुण बोले- सिख समुदाय का संदेश गरीबों की मदद करना
कार्यक्रम के दौरान वरुण गांधी ने सिख समुदाय की जमकर तारीफ की वरुण गांधी ने कहा कि यह समुदाय हमेशा अपने सेवा भाव को लेकर जाना जाता है, यह बात बिल्कुल सच है कि समुदाय पर हमेशा अत्याचार हुए हैं। चाहे पंजाब में हम लोग का मामला हो या फिर कुछ और लेकिन इस समुदाय ने कभी हार नहीं मानी और ना ही यह समुदाय कभी किसी के सामने झुका। इस समुदाय ने हमेशा गरीब मजलूम की मदद की और रक्षा की और जुल्म के खिलाफ आवाज भी उठाई वरुण गांधी ने कहा कि आज हम सब लोग यही संदेश देने के लिए यहां एकत्र हुए हैं।
मैंने भी सिख कौम से ली सीख
कार्यक्रम के दौरान संबोधन करते हुए वरुण गांधी ने कहा कि मैंने भी सिख समुदाय से कुछ सीख ली है। जब मैं 2009 में पहली बार पीलीभीत से सांसद चुना गया तो अमरिया इलाके में एक जनसभा में मुझे बुजुर्ग सिख मिले। उन्होंने मुझे बताया कि बेटा हमारे समुदाय का हाथ हमेशा कुछ देने के लिए उठाना चाहिए, कुछ लेने का नहीं मैं चाहता हूं कि जैसे नेहरू ने प्रधानमंत्री बनने के बाद सैलरी में ₹1 लिया था। मैं चाहता हूं कि तुम भी संसद से कुछ ना लो।
मैंने उस बुजुर्ग से की बात मानी और अपनी सैलरी छोड़ दी। 15 साल सांसद रहते हुए मैंने आज तक एक बार भी अपनी सैलरी नहीं ली। मेरी सैलरी हर साल आत्महत्या करने वाले किसानों के परिवार की मदद के लिए जाती है। इसके साथ ही नेहरू की तारीफ करते हुए वरुण गांधी ने कहा कि मेरे पूर्वजों ने मुझे बहुत कुछ सिखाया है। वरुण गांधी ने कहा कि नेहरू जब देश के प्रधानमंत्री बने तो मावलंकर लोकसभा के अध्यक्ष हुआ करते थे। सरदार हुकुम सिंह उसे समय शिरोमणि अकाली दल की अध्यक्षता करते थे और सांसद थे।
संसद में संबोधन के दौरान सरदार हुकुम सिंह ने पंडित जवाहरलाल नेहरू को बुरा भला कहा, कुछ दिन बाद जब मावलंकर का निधन हो गया तो पंडित जवाहरलाल नेहरू ने सरदार हुकुम सिंह को लोकसभा का अध्यक्ष बनाया। किसी व्यक्ति ने जब हुकुम सिंह को इस मामले की जानकारी दी, तो हुकुम सिंह को विश्वास नहीं हुआ क्योंकि उसे समय शिरोमणि अकाली दल सिर्फ चार सांसदों का दल हुआ करता था। सरदार हुकुम सिंह जब पंडित नेहरू से मिलने गए और पूरी बात उनके समक्ष रखी तो सरदार हुकुम सिंह ने कहा कि मैं संसद में आपकी बुराई की हो सकता है। आप इस बात को भूल गए हो तब नेहरू ने सरदार हुकुम सिंह को जवाब दिया कि देश में हर तरफ नेहरु नेहरु हो रहा है। ऐसे में जो व्यक्ति मेरी खिलाफत करने मैं सक्षम हूं उसे भी किसी बड़े पद पर होना चाहिए।
मंच से पिता का लिया नाम, कहा- पिता से भी सीखा
वरुण गांधी ने जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि मैं स्वर्गीय संजय गांधी का बेटा हूं। मैं अपने पिता से एक बात सीखी है, कि बातें कम और काम ज्यादा मैं वह आदमी नहीं हूं, जो मीठी-मीठी बात करके आपको खुश करके चला जाऊं। यह मेरे बस की बात नहीं है आप लोगों की गुलाबी पर मैं इसलिए आया हूं। क्योंकि आप लोग मुझे बाहर से भी जानते हैं और अंदर से भी जब किसान आंदोलन हुआ तो मैं सच की आवाज उठाई और किसान आंदोलन का खुले आम समर्थन किया। इस दौरान मैंने राजनीति की परवाह न करते हुए इंसाफ की परवाह की क्योंकि मैं किसी की जात-पात नहीं देखी, बल्कि यह देखा कि अगर देश के किसानों की आवाज दब गई तो इस देश का कोई मतलब नहीं रह जाएगा।
सेना में सिखों की भागीदारी पर बोले वरुण गांधी
सिख समुदाय की तारीफ करते हुए वरुण गांधी ने कहा कि यह वह समुदाय है, जो देश के लिए अनाज उगाता है और अनाज को अपने खून पसीने से सींचता है। वरुण गांधी ने कहा कि इस देश में सिखों की बड़ी भागीदारी रही है। 70% सेवा की भर्तियों में सिख समुदाय के लोग ही हैं। मैंने कई ऐसे परिवारों को देखा है, जिसमें तीन के तीन बच्चे आर्मी में है और आगे भी यह लोग आर्मी में जाने का जज्बा रखते हैं। वरुण गांधी ने कहा कि जब इस कार्यक्रम की अनुमति नहीं हो रही थी, तो डीएम ने मुझे तर्क दिया कि कहीं कुछ गलत ना हो जाए।
मैंने जिला अधिकारी को जवाब देते हुए कहा कि यह लोग कभी कुछ गलत नहीं कर सकते, क्योंकि इन लोगों के हाथ अगर कभी कुछ गलत हो गया, तो हम सीमा पर 1 मिनट भी नहीं टिक पाएंगे। कार्यक्रम के दौरान वरुण गांधी ने सिख समुदाय के लोगों से कहा कि मैं हमेशा आप लोगों के साथ हूं। मेरी जिंदगी आप लोगों के लिए ब्लैंक चेक है आप जब चाहे मुझे जो चाहे करवा सकते हैं और कुछ भी बुला सकते है। कार्यक्रम के अंत में वरुण गांधी मंच से जय हिंद का नारा लगाकर मंच से नीचे उतर आए।