शाहगंज(जौनपुर) : नगर पालिका परिषद की चेयरमैन गीता जायसवाल व उनके पति प्रदीप जायसवाल के खिलाफ सभासद ने संगीन आरोप लगाए हैं। सभासद रामप्रसाद मोदनवाल ने मुख्यमंत्री, नगर विकास मंत्री समेत उच्चाधिकारियों को पत्र भेजकर टेंडर में लाखों के गबन और फर्जी नामांतरण के जरिए जमीन हथियाने का आरोप लगाया है। आरोपों की जांच सीबीआई या अन्य किसी स्वतंत्र एजेंसी से कराने की मांग की है।
वार्ड नंबर 24 के सभासद रामप्रसाद मोदनवाल ने मुख्यमंत्री, नगर विकास मंत्री समेत आला अधिकारियों को भेजे गए पत्र में कहा कि नगर पालिका क्षेत्र की नालियों की सफाई का टेंडर 21 लाख रुपए का जारी किया गया। जबकि यह काम जीएसटी समेत छह से सात लाख रुपए में हो सकता है। मामले में अधिशासी अधिकारी से शिकायत करने पर टेंडर की राशि साढ़े 12 लाख कर दी गई लेकिन यह भी वास्तविक खर्च से दोगुना है।
सभासद ने पालिका अध्यक्ष और उनके पति पर कई गुना अधिक कीमतों पर सामान खरीदने का आरोप लगाया। पत्र में कहा कि सीमेंट की बेंच तीन गुना अधिक कीमत पर खरीदी गई, जो छह महीने के भीतर टूट भी गई। मिनी ट्यूबवेल लगाने का भुगतान चार गुना अधिक दिखाया गया है। पेयजल आपूर्ति की पाइप लाइन बिछाने में करोड़ों रुपये के घोटाले का आरोप लगाया। आरोप यह भी है कि टेंडर दोगुनी कीमतों पर होते हैं और ठेकेदार को भुगतान की गई धनराशि में बीच के अन्तर की राशि चेयरमैन पति स्वयं ले लेते हैं। प्रभाव के कारण ठेकेदार उनकी बात मानने पर मजबूर हैं। किसी भी टेंडर की राशि की जानकारी बोर्ड की बैठक में नहीं दी जाती। बोर्ड की मीटिंग चार पांच महीने में कराई जाती है।
सभासद ने वक्फ की जमीन हड़पने और फर्जी नामांतरण के एक अन्य मामले में चेयरमैन और उनके पति पर हुए मुकदमे का हवाला देते हुए पद का दुरुपयोग कर नामांतरण की आड़ में जमीन हड़पने का आरोप भी लगाया। नगर पालिका सभागार की बुकिंग राशि भी रजिस्टर में दर्ज करने की बजाय हड़प ली जाती है। इसके अलावा बल्ब खरीद, पाइपलाइन और ट्यूबवेल मरम्मत, बच्चों के लिए जिम के सामान की खरीद में भी लाखों के गबन का आरोप लगाया गया है।