फर्रुखाबाद, 8 मार्च 2022 लक्ष्य तय हो और इरादे मजबूत हों तो बदलाव स्वतः दिखने लगता है। कुछ ऐसा ही हुआ जनपद के कायमगंज ब्लॉक में। यहां की आशा संगिनी की ईमानदारी और कर्तव्यनिष्ठा से जो बदलाव दिख रहा है उसकी चर्चा अब गांव तक नहीं बल्कि जनपद स्तर तक होने लगी है। पेश है अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर यह खास रिपोर्ट…
कायमगंज ब्लॉक के गांव त्यौर खास की रहने वाली आशा संगिनी शिप्रा सक्सेना बताती हैं कि मैंने अपने जीवन की शुरुआत आशा कार्यकर्ता के रूप में 2006 से शुरू की । इस दौरान मुझे गांव के लोगों से तरह तरह की बातें सुनने को मिलती थी लेकिन मेरी सास और पति ने मेरे हौसले को नहीं गिरने दिया । उन्होंने मेरा हर पल साथ दिया साथ में जाकर सर्वेक्षण कराया लोगों से मिलवाया ।
शिप्रा कहती हैं उस दौरान गांव के लोग घर पर ही प्रसव कराते थे और टीकाकरण भी कराने से डरते थे मुझे उनको समझाने में लगभग एक वर्ष बीत गया लेकिन अब मेरे गांव में सभी लोग टीकाकरण कराने के साथ ही परिवार नियोजन के साधन ले रहे हैं और संस्थागत प्रसव भी कराने लगे हैं ।
शिप्रा कहती हैं आशा संगिनी के रूप में मैंने 2017 में शुरुआत की मुझे 37 आशा कार्यकर्ताओं के साथ काम करने का मौका मिला मेरा भरसक प्रयास रहेगा कि मैं इनको इतना तैयार कर दूँ कि इनको किसी की जरुरत न पढ़े ।
शिप्रा कहती हैं कि मुझको सुनहरे सपने संबरती राहें कार्यक्रम में सही जबाब देने पर सिफ्सा द्वारा तीन बार सम्मानित किया जा चुका है इसके साथ ही कई बार मुझे आशा सम्मलेन में भी मेरे अच्छे कार्य के लिए सम्मान मिल चुका है।
इसी ब्लॉक के गांव शिवराई वरियार की रहने वाली आशा संगिनी उर्मिला यादव का जीवन भी बढ़ा उतार चढ़ाव भरा रहा इन्होने आशा कार्यकर्ता के रूप में 2006 में कार्य करना शुरू किया तो परिवार वालों ने कई बार रोका कहा क्या दाईगीरी का काम ले लिया एक बार तो मन में आया कि इस काम को छोड दूँ लेकिन मेरे पति ने मेरा हौसला बढाया ।
उर्मिला कहती हैं कि आशा के रूप में मुझे बहुत कठिनाईयों का सामना करना पड़ा लेकिन मैं झुकी नहीं अपने कार्य में लगी रही आज मेरे गांव के लोग कोई भी काम हो तो मुझ से पूछे बगैर नहीं करते हैं ।
इस समय मेरा गांव स्वास्थ्य सुविधाओं के मामले में आगे चल रहा है । 2017 में मुझे आशा संगिनी का पद मिला मैं इस समय 32 आशा कार्यकर्ताओं के साथ काम कर रही हूँ ।मुझे कई बार जिले से सम्मानित भी किया जा चुका है ।
इस सम्बन्ध में सीएचसी कायमगंज के प्रभारी चिकित्सा अधिकारी डॉ शिवप्रकाश का कहना है यह जमीनी कार्यकर्ताओं की मेहनत का ही नतीजा है जो हम हर मामले में आगे चल रहे हैं।
इस सम्बन्ध में जिला सामुदायिक प्रक्रिया प्रबंधक रणविजय प्रताप सिंह का कहना है कि इन लोगों को जिले की तरफ से जो भी काम दिया जाता वह समय रहते पूरा करने की कोशिश करती हैं साथ ही इनको जिला स्तर से कई बार सम्मानित भी किया जा चुका है।