फर्रुखाबाद:(द दस्तक 24 न्यूज़) 26 अप्रैल 2025 पुलिस अधीक्षक आरती सिंह के मार्गदर्शन, अपर पुलिस अधीक्षक डा० संजय सिंह व क्षेत्राधिकारी अमृतपुर अजय वर्मा के नेतृत्व में अपराध एंव अपराधियों के विरूद्ध चलाये जा रहे अभियान के क्रम में थाना राजेपुर पुलिस व एसओजी टीम एवं सर्विलांस सेल के द्वारा थाना राजेपुर में नामजद अभियुक्तगण श्यामवीर पुत्र राधा कृष्ण,दीपू पुत्र मुकेश,मनफूल पुत्र वीरपाल को मुखबिर खास की सूचना पर अभियुक्तगण की गिरफ्तारी कर उनकी निशादेही पर हत्या में प्रयुक्त आला कत्ल एक अदद हसिया बरामद कर अग्रिम विधिक कार्यावाही की जा रही है।
गिरफ्तार अभियुक्तगण का नाम व पताः-
1- श्यामवीर पुत्र राधा कृष्ण निवासी ग्राम सवितापुर कोतवाली फतेहगढ़ जनपद फतेहगढ़
2- दीपू पुत्र मुकेश निवासी ग्राम सवितापुर कोतवाली फतेहगढ़ जनपद फतेहगढ़।
3- मनफूल पुत्र वीरपाल निवासी ग्राम सुन्दरपुर कोतवाली फतेहगढ़ जनपद फतेहगढ़।
घटना का विवरण –
19 अप्रैल 25 को वादी सुनील कुमार पुत्र रमजु निवासी कुआंडाण्डी थाना पाली जनपद हरदोई ने थाना राजेपुर पर एक प्रार्थना पत्र दिया कि वादी का पुत्र दीपक उम्र 35 वर्ष अपनी बुआ निवासी सलेमपुर के यहां तिरपाल लेने चला गया तिरपाल लेकर अपनी बुआ के लड़के श्यामवीर के साथ वापस आना एवं रास्ते में भरखा चौराहे मंदिर के पास खड़े टैक्टर के पास से कही चले जाना व वापस न आने के सम्बन्ध में गुमशुदगी थाना राजेपुर पर दर्ज की गयी थी। दिनांक 24.04.2025 को मुखबिर खास की सूचना पर गुमशुदा दीपक के शव को सुन्दरपुर की कटरी सतीश नौसारा के खेत गंगा नदी के दक्षिणी किनारे पर बालू के नीचे से दबी हुयी लाश को उनके परिजनों के समक्ष निकाला गया। जो क्षत विक्षिप्त अवस्था में था। मौके से ही गुमशुदा के जूते, मोबाइल का डेटाकेबल, दवाई जो वह खाता था एवं कपडों व हुलिया को देखकर सुनील कुमार उपरोक्त द्वारा अपने पुत्र दीपक कुमार के रुप में पहचान की गयी।
पूछताछ का विवरणः अभियुक्त नें पूछताछ करने पर बताया कि श्यामवीर और मृतक दीपक पुत्र सुनील कुमार मामा और फूफी के भाई-भाई थे। दीपक उपरोक्त के श्यामवीर उपरोक्त की पत्नी से अवैध सम्बन्ध थे तथा दीपक उसकी बहन पर भी बुरी नजर रखता था। जिसकी जानकारी श्यामवीर को हुई तो उसने दीपक की हत्या करने की ठान ली। दिनांक 18/19.04.2025 की रात्रि श्यामवीर और दीपक अपने अपने परिवारीजनो के साथ खेत से गेंहू को तीन ट्रैक्टरो में भरकर गल्ला मण्डी फर्रुखाबाद बेचने के लिये जा रहे थे, रास्ते में तेज आँधी व बरसात होने लगी, दो टैक्टर भरखा चौराहा के पास खड़े कर दिये थे। श्यामवीर और मृतक दीपक दोनों लोग ग्राम सवितापुर से मोटर साइकिल से तिरपाल लेने गये और श्यामवीर ने अपने मित्र दीपू को साथ लिया और तीनों लोग भरखा की तरफ आने लगे, रास्ते मे सुनसान जंगल में दोनो ने मिलकर हसिया से दीपक की हत्या कर दी, और शव को गंगा के किनारे ले जाकर सीमेन्ट का खम्बा जिससे खेत मे तार लगाया जाता है, को गमछे से शव में बांधकर शव को गंगाजी मे छिपा दिया, और श्यामवीर आकर टैक्टर पर ट्राली मे सो गया, और दीपू अपने घर जाकर सो गया, श्यामवीर सदैव दीपक के पिता के साथ रहा जिससे कोई उस पर शक न करें, और दीपू बाहर रहा मौका पाकर दीपू ने मनफूल की मदद से शव को गंगाजी से निकालकर करीब 6 किमी कन्नौज की तरफ सुन्दरपुर कटरी क्षेत्र के पास गंगा जी के किनारे गाड दिया जिससे शव पुलिस को न मिले और पुलिस कोई कार्यवाही न कर सके।