पिछले कई दिनों से इसके कयास लगाए जा रहे थे. रविवार को कांग्रेस नेता एके एंटनी ने इसकी औपचारिक घोषणा करते हुए कहा कि राहुल गांधी दो सीटों से चुनाव लड़ेंगे.
दिल्ली में पार्टी मुख्यालय में उन्होंने कहा कि केरल की वायनाड सीट का चयन का फ़ैसला दक्षिण भारत के चार राज्यों, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु, केरल और कर्नाटक में कांग्रेस को मज़बूत करने के लिए लिया गया है.
उन्होंने बताया कि केरल, कर्नाटक और तमिलनाडु से बार-बार राहुल गांधी के दक्षिण की सीट से चुनाव लड़ने को लेकर मांग आ रही थी.
कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि वायनाड का चयन उसके भौगोलिक और सांस्कृतिक स्वरूप की वजह से किया गया है.
रणदीप सुरजेवाला ने कहा, “आज एक सुखद दिन है. राहुल जी ने अनेकों बार कहा है कि अमेठी उनकी कर्मभूमि है. अमेठी से उनका रिश्ता परिवार के सदस्य का है. इसलिए अमेठी को छोड़ नहीं सकते.”
इस दौरान सुरजेवाला ने अमेठी से बीजेपी प्रत्याशी स्मृति ईरानी पर निशाना साधते हुए कहा, “इस बार वह हार की हैट्रिक लगाएंगी. पहले नई दिल्ली से हारीं, दूसरी बार अमेठी से और अब तीसरी बार भी अमेठी से चुनाव हारेंगी स्मृति ईरानी.”
कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी रविवार को दक्षिण भारत में ही चुनाव सभाएँ कर रहे हैं. वे आंध्रप्रदेश में विजयवाड़ा और अनंतपुर के साथ ही बेंगलुरू में जनसभा को संबोधित करेंगे.
कांग्रेस की सुरक्षित सीट
2008 में बना वायनाड संसदीय क्षेत्र को कांग्रेस की सुरक्षित सीटों में से एक माना जाता है.
वायनाड लोकसभा के तहत सात विधानसभा क्षेत्र आते हैं. इनमें से तीन वायनाड ज़िले के, तीन मल्लापुरम ज़िले के और एक कोझीकोड ज़िले से हैं.
2009 और 2014 के लोकसभा चुनावों में यहां से कांग्रेस के एमआई शानवास जीते थे. लेकिन 2018 में उनके निधन के बाद से यह सीट खाली है.
दोनों ही बार वहाँ कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ़ इंडिया (सीपीआई) दूसरे नंबर पर रही थी.
हालाँकि 2009 में कांग्रेस प्रत्याशी की जीत का अंतर जहां 153,439 लाख वोटों का था, वहीं 2014 में वो महज 20,870 मतों के अंतर से जीत दर्ज कर सके थे.
भारतीय जनता पार्टी के उम्मीदवार 2009 में चौथे नंबर पर रहे जिन्हें महज 31,687 वोट (3.85 फ़ीसदी) मिले थे. 2014 के चुनाव में बीजेपी तीसरे नंबर पर रही. उसके प्रत्याशी को 80,752 वोट (8.83 फ़ीसदी) मिले.
इस लोकसभा चुनाव में वायनाड में राहुल गांधी की टक्कर सीपीआई उम्मीदवार पीपी सुनीर से होगी. वे सत्ताधारी गठबंधन एलडीएफ़ के उम्मीदवार हैं.
केरल में लोकसभा की सभी सीटों पर 23 अप्रैल को मतदान होना है.