जनपद मैनपुरी के थाना क्षेत्र में अनट्रेंड डॉक्टरों और स्टाफ नर्स के गलत उपचार से किशोरी की मौत हो गई। परिजनों ने अस्पताल के डॉक्टर पर इलाज के दौरान मरीज को गलत इंजेक्शन लगाए जाने का आरोप लगाया है। हालांकि पीड़ित परिवार द्वारा शोर मचाए जाने पर अस्पताल संचालक किशोरी के शव को अस्पताल के बाहर फेंक कर फरार हो गया। सूचना पर पहुंची पुलिस मामले की जांच पड़ताल में जुड़ गई है।
मामला घिरोर थाना क्षेत्र के करहल रोड पर संचालित राधा स्वामी अस्पताल से जुडा बताया जा रहा है। गांव ओए निवासी मनीषा ने आरोप लगाते हुए बताया कि कल उसकी भतीजी भारती उम्र लगभग 17 वर्ष की अचानक तबीयत खराब हो गई थी। जिसे उसने राधा स्वामी अस्पताल में भर्ती कराया था। डॉक्टर ने बताया था कि उसके सर पर बुखार चढ़ गया है। जिसका महंगा इलाज होगा।
डॉक्टर ने इलाज के लिए 20 हजार नगद जमा कराई रकम
परिजनों का आरोप इलाज के लिए अस्पताल के डॉक्टरों ने उससे 20 हजार नगद जमा कराए थे। जो अन्य दवाई दी उसके अलग से पैसे उससे ग्यारह सौ लिए। कल रात में उसकी तबीयत ठीक हो गई थी। सुबह भी ठीक थी और उसे आराम से बातचीत कर रही थी। लगभग 11बजे जैसे ही स्टाफ नर्स ने उसकी भतीजी को इंजेक्शन लगाया, वैसे ही उसकी तबीयत बिगड़ गयी जिससे उसकी मौत हो गई।
अस्पताल में तैनात स्टाफ नर्स और कर्मचारियों ने उसकी भतीजी को अस्पताल से उठाकर नीचे सड़क पर डाल दिया और उसका शव फेंक अस्पताल बंद कर फरार हो गए।
जांच के बाद दोषियों पर होगी कार्रवाई
मामले पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी आरसी गुप्ता ने बताया मामला संज्ञान आने के बाद तुरंत जांच टीम को अस्पताल की जांच के लिए भेजा गया था। राधा स्वामी अस्पताल रजिस्टर्ड था यह जरूर है कि जिनके नाम रजिस्टर्ड था वह कोई भी लोग वहां पर मौजूद नहीं थे। अस्पताल को सील कर दिया गया है और उनसे अस्पताल से संबंधित सभी पत्रावलियां लाने के लिए कहा गया है जांच कर कार्रवाई की जाएगी।