फर्रुखाबाद :बेटी नहीं बेटे से कम, भूल जाओ सारे भ्रम ! बेटियाँ किसी पर बोझ नहीं, इन्हें भी आगे बढ़ने का अवसर दो

फर्रुखाबाद : देश बहुत तेजी से विकास की ओर अग्रसर है | आज भारत विकासशील देश से विकसित देश की ओर अग्रसर है | देश में हर साल 24 जनवरी को राष्ट्रीय बालिका दिवस मनाया जाता है| बालिका दिवस मनाने का सबसे बड़ा उद्देश्य लड़कियों को हरसंभव मदद पहुंचाना और अलग-अलग तरीके के अवसर प्रदान करना है| यह कहना है जिला प्रोबेशन अधिकारी (डीपीओ) अनिल चन्द्र का |
अनिल चन्द्र ने बताया कि इस समय कोरोना काल चल रहा है इसलिए इस दिवस पर कोई भी खास कार्यक्रम नहीं किया जा रहा है | इसका मतलब यह नहीं है कि हम बेटियों के अधिकारों के बारे में सोचना बंद कर दें | आज बेटियाँ किसी से कम नहीं है वह हर क्षेत्र में अपना लोहा मनवा रहीं हैं | इसके बावजूद दुखद है कि बालिकाओं को आगे बढ़ने, अपना हुनर दिखाने तथा उसे साबित करने के लिए तमाम तरह की मुश्किलों का सामना करना पड़ता है।वह भले ही आगे बढ़ रही है, लेकिन आज भी देश तमाम कुरीतियों का शिकार हैं।उन्होंने कहा कि जिले में 1000 लड़कों पर 880 लड़कियां हैं जो कि सोचने का विषय है | डीपीओ ने बताया कि जिले में कन्या सुमंगला योजना के तहत इस वित्तीय वर्ष में 7654 कन्याओं को लगभग 1.33 करोड़ रुपये का लाभ दिया जा चुका है |
डीपीओ ने बताया कि प्रदेश की कन्याओं के परिवार को आर्थिक सहायता प्रदान करने के लिए, प्रदेश में समान लिंग अनुपात स्थापित करने के लिए, बालिकाओं के स्वास्थ्य एवं शिक्षा का ध्यान रखने के लिए एवं बालिकाओं के प्रति नकारात्मक सोच को दूर करने के लिए 1 अप्रैल 2019 में कन्या सुमंगला योजना का शुभारंभ किया गया था। इस योजना के माध्यम से बालिकाओं को छह किस्तों में आर्थिक सहायता प्रदान की जाती है। पहली किस्त 2000 रुपये की होती है जो कि जन्म के समय प्रदान की जाती है। दूसरी किस्त एक वर्ष के टीकाकरण के बाद प्रदान की जाती है जो कि 1000 रुपये की होती है। कक्षा एक में प्रवेश लेने पर तीसरी किस्त प्रदान की जाती है जो की 2000 रुपये की होती है। कक्षा छह में प्रवेश लेने पर चौथी किस्त प्रदान की जाती है जो कि 2000 रुपये की होती है। पांचवी किस्त कक्षा नौ में प्रवेश लेने पर प्रदान की जाती है जो कि 3000 रुपये की होती है। छठी किस्त डिप्लोमा कोर्स में प्रवेश लेने पर प्रदान की जाती है जो कि 5000 रुपये की होती है।

इस संबध में आवास विकास कालोनी की रहने वाली शिवांगी अग्निहोत्री कहती हैं मेरे पिता एक स्कूल में गार्ड की नौकरी करते हैं |मुझे इस योजना का लाभ मिला है और मैं बहुत खुश हूँ | मैं इस समय बीएससी कर रही हूँ |
ब्लॉक कमालगंज की रहने वाली गार्गी शुक्ला कहती हैं कि इस योजना से मिली राशि से मेरी पढाई में काफी मदद मिली |