शी जिनपिंग के तीसरी बार राष्ट्रपति बनने में हैं सबसे बड़ा रोड़ा कौन बन रहा ?

शी जिनपिंग लगातार दो बार से चीन के राष्ट्रपति हैं और वह तीसरी बार भी राष्ट्रपति बनने की रेस में सबसे आगे हैं। जिनपिंग ने सालों से चीन के दूसरे सबसे शक्तिशाली राजनीतिक व्यक्ति प्रीमियर ली केकियांग को दरकिनार किया है लेकिन रिपोर्ट्स बताती हैं कि केकियांग अबकी एक शक्ति के रूप में उभर रहे हैं।
वॉल स्ट्रीट जर्नल ने चीनी सरकारी अधिकारियों के हवाले से रिपोर्ट दी है कि हाल के सालों में चीन आर्थिक तौर पर दिक्कतों में फंसा है। ऐसे में केकियांग आर्थिक मंदी को दूर रखने के लिए कई तरह के प्रयास कर रहे हैं। उन्होंने हाल ही में प्राइवेट टेक्नोलॉजी फर्म्स को नियामक कार्रवाई में ढील दी है, घर खरीददारों को कर्ज देने में ढील दी है और कुछ निर्माताओं को फिर से उत्पादन शुरू करने में मदद की है। उन्होंने यह काम ऐसे वक्त में किया है जब शी जिनपिंग कोविड को लेकर बेहद सख्त है और कड़ाई से जीरो कोविड पॉलिसी पर काम कर रहे हैं।

66 बरस के केकियांग का कार्यकाल एक साल के भीतर खत्म होने को है ऐसे में वह खुद को राष्ट्रपति पद के लिए खुद को तैयार कर रहे हैं। रिपोर्ट्स बताती हैं कि वह शी जिनपिंग को चुनौती दे सकते हैं क्योंकि वह खुद कई मोर्चे को लीड कर रहे हैं और जिनपिंग के खिलाफ आम लोगों में हाल के दिनों में असंतोष बढ़ता जा रहा है। एक्सपर्ट्स का कहना है कि चीन की राजनीति में यह पता लगाना बेहद मुश्किल है कि केकियांग को कितना समर्थन है। लेकिन फैसले लेने वाले चीनी कम्युनिस्ट पार्टी के टॉप अधिकारियों का मानना है कि जिनपिंग ने आर्थिक विकास को लेकर व्यावहारिक उपायों पर जोर देने के बजाए माओत्से तुंग की समाजवादी नीति पर अधिक फोकस किया है।
अप्रैल में जियांग्शी प्रदेश के दौरे पर केकियांग ने कहा था कि जिनपिंग की कुछ पॉलिसी के कारण टेक इंडस्ट्री को नुकसान पहुंचा है। उन्होंने ई-कॉमर्स अधिकारियों और कर्मचारियों की भीड़ के सामने प्लेटफॉर्म इकोनॉमी को मजबूत करने का वादा किया। आसान भाषा में इसका मतलब यह है कि वह इंटरनेट आधारित बिजनेस को बढ़ावा देंगे। उनके इस दौरे के कुछ ही दिनों के बाद 25 सदस्यों वाली पोलित ब्यूरो की एक बैठक हुई और ब्यूरो ने शी जिनपिंग की नियामक कार्रवाई को रोकने का संकेत दिया जिसमें भारी जुर्माना सहित अन्य दंड शामिल हैं
फैसले वाले कुछ टॉप अधिकारियों ने वॉल स्ट्रीट जर्नल से बातचीत में कहा है कि शी जिनपिंग के दबदबे के कारण चीन में रोजगार और विकास को नुकसान हुआ है। हालांकि इसका मतबल यह नहीं है कि चीन पश्चिमी देशों के साथ जुड़ाव बढ़ाना चाहता है। यह सच है कि शी जिनपिंग एक दशक से चीन के सबसे ताकतवर नेता बांये हुए हैं और कई टॉप नेता उनकी कठोर नीतियों से सहमत हैं। लेकिन इस बात से इनकार नहीं है कि केकियांग का प्रोफाइल बढ़ रहा है। मीडिया रिपोर्ट्स के विश्लेषण से पता चलता है कि केकियांग 2020 की तुलना में 2021 में 15 गुना अधिक अखबारों की सुर्खियों में नजर आए और 2022 के अब तक के रुझानों से पता चलता है कि वह पिछले साल की संख्या से दोगुना होने की राह पर हैं।
चीन की राजनीति पर नजर रखने वालों का मानना है कि 2021 से पहले केकियांग व्यावहारिक रूप से करीब-करीब अस्तित्वहीन थे लेकिन पिछले डेढ़ सालों में वह खुद को टॉप नेता के तौर पर प्रोजेक्ट कर रहे हैं। यह सच है कि शी जिनपिंग अगले राष्ट्रपति बनने की रेस में सबसे आगे हैं कि लेकिन इसमें एक अनिश्चितता यह है कि जिनपिंग के वफादार लोग अब भी उनके साथ हैं या फिर साथ होने का बस दिखावा कर रहे हैं।
वॉल स्ट्रीट जर्नल ने पार्टी के अंदरूनी सूत्रों के हवाले से बताया है कि केकियांग पार्टी प्रमुख रहे मिस्टर हू के पसंदीदा रहे हैं। लेकिन मिस्टर हू को पार्टी के बुजुर्गों ने पीछे छोड़ दिया और उन लोगों ने क्रांतिकारी नेता के बेटे शी जिनपिंग का समर्थन किया। इसके बाद से ली केकियांग चीन की राजनीति में नंबर 2 हैं। जिनपिंग के सत्ता में आने से पहले तक प्रीमियर का काफी दबदबा रहा है लेकिन जिनपिंग ने धीरे-धीरे प्रीमियर के ताकत को कमजोर करते चले गए। ऐसे में उनके पास सहायक भूमिका स्वीकार करने के अलावा और कोई विकल्प नहीं था।
नौकरियों और अर्थव्यवस्था शी जिनपिंग के कोविड नियंत्रण उपायों के प्रभाव को लेकर चिंतित केकियांग ने फिर से उत्पादन शुरू करने के लिए लॉजिस्टिक बाधाओं को दूर करने के लिए विभिन्न मंत्रालयों को निर्देश देते हुए बैठकें की हैं। आसान भाषा में इसका मतलब यह है कि जिनपिंग ने जो गलतियां की हैं, केकियांग ने उन गलतियों को ठीक करने की कोशिश की है कि ताकि चीन की इकॉनमी को झटका न लगे और वह अपने स्पीड से बढ़ती रही। हालांकि उनके इन प्रयासों को 2022 के आखिर में होने वाले सबसे महत्वपूर्ण पार्टी सम्मेलन में परखा जाएगा।

वॉल स्ट्रीट जर्नल ने टॉप अधिकारियों के हवाले से बताया है कि केकियांग समर्थक निश्चित तौर पर प्रीमियर पद की रेस में हैं। शी जिनपिंग शंघाई के पार्टी सचिव ली कियांग को अगले प्रीमियर के तौर पर देखना चाहते हैं लेकिन कोविड के कारण उनकी बहुत अधिक भद्द पिट चुकी है। केकियांग गुट के वांग यांग जो कि चीन के टॉप सरकारी सलाहकार निकाय के प्रमुख हैं प्रीमियर की रेस में बहुत आगे हैं।

33 साल की उम्र में यांग्त्ज़ी रिवर पोर्ट सिटी के मेयर बनने के बाद स्थानीय लोग वांग को बेबी मेयर कहते थे। इसके बाद उन्होंने ग्वांगडोंग के दक्षिणी प्रांत और इनर मंगोलिया को सफलतापूर्वक चलाया। उनके करियर और हू जिंताओ के बीच समानता के कारण उन्हें कई लोग ‘लिटिल हू’ के रूप में जानते हैं। ऐसे में यह देखना होगा कि केकियांग शी जिनपिंग को कितनी चुनौती दे पाते हैं।