लखनऊ विकास प्राधिकरण में सम्पत्ति की फाइलें न मिलने से जन सामान्य को होने वाली दिक्कत का हल अब ‘मास्टर रजिस्टर’ से निकलेगा। प्राधिकरण के उपाध्यक्ष इन्द्रमणि त्रिपाठी ने 15 अप्रैल तक संपत्तियों का योजनावार मास्टर रजिस्टर बनाने के निर्देश दिए हैं। गुरूवार को सम्पत्ति अनुभाग की समीक्षा बैठक में उपाध्यक्ष ने अधिकारियों व कर्मचारियों को हिदायत देते हुए कहा कि फाइल गायब है वाला सिलसिला अब नहीं चलेगा, यह कहानी हमें खत्म करनी होगी।
उन्होंने कहा कि समस्त प्रभारी संपत्ति अधिकारी अपने अधीनस्थ कर्मचारियों के साथ बैठक करेंगे। इसमें डिस्पोजल रजिस्टर व कंप्यूटर अनुभाग से प्राप्त संपत्तियों की सूची का मूल ले-आउट से मिलान करके पूरा ब्योरा मास्टर रजिस्टर (रजिस्टर ऑफ रजिस्टर) में अंकित करेंगे। कार्यवाही पूर्ण होने के बाद संबंधित को मास्टर रजिस्टर में यह स्वघोषित करना होगा कि समस्त जानकारी मूल से प्रमाणित है, जिसके बाद इसका थर्ड पार्टी ऑडिट करवाया जाएगा।
संपत्ति की गायब फाइलों की खोजबीन के लिए उपाध्यक्ष ने सर्च ऑपरेशन चलवाया था। इसमें बंद अलमारियों के ताले तोड़कर दस्तावेज खंगाले गये थे, जिसकी वीडियोग्राफी भी करवायी गयी थी। इसमें संपत्ति की लगभग 500 फाइलें बरामद हुई हैं। उपाध्यक्ष ने बैठक में निर्देश दिये कि जिन योजनाओं की सम्पत्तियों की फाइलें मिली हैं, उनका काम देख रहे बाबू तत्काल इन फाइलों को रिसीव करके ब्योरा अंकित करें। जिसके बाद समस्त फाइलों को रिकॉर्ड अनुभाग में सुरक्षित जमा करा दिया जाए।
देवपुर पारा में ईडब्ल्यूएस, एलआईजी व एमएमआईजी श्रेणी की नयी आवासीय योजना जल्द लांच हो सके। इसके लिए उपाध्यक्ष इन्द्रमणि त्रिपाठी ने बहुमंजिला भवनों के निर्माण के लिए रेरा में पंजीकरण कराने के निर्देश दिए हैं। उपाध्यक्ष ने अधिशासी अभियंता नवनीत शर्मा व सहायक लेखाधिकारी विनोद श्रीवास्तव के नेतृत्व में एक समिति गठित की है। समिति को अगले महीने के प्रथम सप्ताह तक रेरा पंजीकरण से सम्बंधित समस्त कार्यवाही पूर्ण करानी होगी। इसके अलावा देवपुर पारा में रिफंड के प्रकरणों की समीक्षा में पाया गया कि अधिकांश रिफंड हो गए हैं।