पहला सेमीफाइनल वनडे वर्ल्ड कप का आज भारत और न्यूजीलैंड के बीच खेला जाएगा

वनडे वर्ल्ड कप का पहला सेमीफाइनल आज भारत और न्यूजीलैंड के बीच खेला जाएगा। मुकाबला मुंबई के वानखेड़े स्टेडियम में है। यह स्टेडियम भारतीय फैंस के लिए आंसू और खुशी दोनों लाता रहा है।
1983 में पहली बार वर्ल्ड चैंपियन बनने के बाद भारत के पास 1987 में टाइटल डिफेंड करने का मौका था। कपिल देव की कप्तानी में उतरी भारतीय टीम ने घरेलू मैदान पर शानदार शुरुआत की और 6 में से 5 ग्रुप मैच जीतकर सेमीफाइनल में पहुंची।
वानखेड़े स्टेडियम में इंग्लैंड के खिलाफ सेमीफाइनल खेला गया। पहली पारी में इंग्लैंड के ओपनर बल्लेबाज ग्राहम गूच ने 136 गेंदों पर 115 रन की बेहतरीन पारी खेली। उन्हें कप्तान माइक गैटिंग का साथ मिला, जिन्होंने 62 गेंदों में 56 रन बनाए। टीम ने 50 ओवर में 6 विकेट पर 254 रन बना लिए। उस जमाने में 50 ओवर की क्रिकेट में 250 रन या इससे ऊपर का टारगेट मैच विनिंग माना जाता था।
भारतीय बल्लेबाजों के लिए यह रन चेज मुश्किल साबित हुआ और टीम 46वें ओवर में ही ऑलआउट हो गई। भारत को 35 रन से हार मिली। इस हार के साथ ही भारतीय क्रिकेट टीम की एक कामयाब जनरेशन का दौर खत्म हुआ। 1983 का वनडे वर्ल्ड कप और 1985 की वर्ल्ड चैम्पियनशिप जिताने वाले ज्यादातर खिलाड़ियों ने इसके कुछ समय बाद रिटायरमेंट ले लिया।
2 अप्रैल 2011 को वानखेड़े स्टेडियम में भारत और श्रीलंका के बीच वनडे वर्ल्ड कप का फाइनल हुआ। भारत ग्रुप स्टेज के 6 में से 4 मैच जीतकर दूसरे नंबर पर रहा था। टीम ने क्वार्टर फाइनल में ऑस्ट्रेलिया और सेमीफाइनल में पाकिस्तान को हराया था।
मुंबई में श्रीलंका ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी की। महेला जयवर्धने ने नाबाद 103 रन बनाए। कुमार संगकारा ने 48 रन की पारी खेली। श्रीलंका ने 50 ओवर में 6 विकेट पर 274 रन बना लिए। जहीर खान और युवराज सिंह ने दो-दो विकेट लिए।
275 रन के टारगेट का पीछा करने में वीरेंद्र सहवाग (0) और सचिन तेंदुलकर (18) जल्दी आउट हो गए। गौतम गंभीर ने 122 गेंदों पर 97 रन की शानदार पारी खेली। भारत को जीत के लिए 11 गेंदों पर 4 रन चाहिए थे। तब कप्तान महेंद्र सिंह धोनी ने नुवान कुलसेकरा की बॉल पर लॉन्ग ऑन की दिशा में सिक्स लगाया और खुद को भारतीय क्रिकेट के इतिहास में अमर कर लिया। टीम 6 विकेट से जीती और भारत 28 साल बाद वर्ल्ड चैंपियन बना।
2023 के वनडे वर्ल्ड कप से पहले भारत में 2016 के दौरान टी-20 फॉर्मेट का वर्ल्ड कप खेला गया था। तब सेमीफाइनल में वानखेड़े में ही भारत को वेस्टइंडीज से हार का सामना करना पड़ा था। न्यूजीलैंड से ग्रुप स्टेज का पहला मैच हारने के बाद टीम इंडिया ने लगातार 3 मैच जीतकर सेमीफाइनल में जगह बनाई थी।
वेस्टइंडीज के सामने भारत ने टॉस हारकर पहले बल्लेबाजी की और 20 ओवर में 2 विकेट पर 192 रन का बना दिए। विराट कोहली ने 47 गेंदों पर 89 रन की शानदार पारी खेली। रोहित शर्मा ने 43 और अजिंक्य रहाणे ने 40 रन बनाए।
भारत ने वेस्टइंडीज को 3 ओवर में 19 रन के स्कोर पर 2 झटके दे दिए थे। लेकिन नंबर-4 पर उतरे लेंडल सिमंस ने 51 गेंद पर नाबाद 82 रन बनाए और मैच वेस्टइंडीज की झोली में डाल दिया। जॉनसन चार्ल्स की फिफ्टी और आखिर में आंद्रे रसेल की पारी से वेस्टइंडीज ने लास्ट ओवर में 7 विकेट से मैच जीत लिया। इस तरह टीम इंडिया को वानखेडे़ स्टेडियम में दूसरी बार वर्ल्ड कप सेमीफाइनल में हार का सामना करना पड़ा।