अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन को स्किन कैंसर हो गया था। व्हाइट हाउस के डॉक्टर केविन ओ’कॉनर ने कहा- बाइडेन के चेस्ट की स्किन पर घाव हो गया था। फरवरी में सर्जरी के दौरान इस घाव वाली स्किन को हटा दिया गया था। इसे जांच के लिए भेजा गया था, जिसमें पता चला कि ये घाव बेसल सेल कार्सिनोमा है। यह स्किन कैंसर का सामान्य रूप है।
डॉक्टर ओ’कॉनर ने कहा- सर्जरी के दौरान कैंसर फैलाने वाले सभी टिश्यूज को हटा दिया गया। इलाज के बाद बाइडेन बिल्कुल ठीक हो गए हैं। उन्हें आगे इलाज की जरूरत नहीं है। हालांकि राष्ट्रपति बाइडेन की सेहत की निगरानी की जा रही है। हम देख रहे हैं कि उन्हें स्किन से जुड़ी कोई और परेशानी तो नहीं हो रही है।
2024 के राष्ट्रपति चुनाव को लेकर बाइडेन के स्वास्थ्य की बारीकी से निगरानी की जा रही है। बाइडेन चुनाव लड़ने की योजना बना रहे हैं। हालांकि उन्होंने इसकी घोषणा नहीं की है।
16 फरवरी को ही फिजिकल एग्जामिनेशन के दौरान डॉक्टर ओ’कॉनर ने 80 साल के बाइडेन को बिल्कुल फिट बताया था। उनका कहना था कि बाइडेन राष्ट्रपति के तौर पर अपनी जिम्मेदारी निभाने के लिए बिल्कुल हेल्दी और फिट हैं।
जो बाइडेन की पत्नी और अमेरिका की फर्स्ट लेडी जिल बाइडेन को भी स्किन कैंसर था। जनवरी में उनकी भी सर्जरी हुई थी। 71 साल की जिल की एक आंख के ऊपर और चेस्ट से घाव वाली स्किन को निकाला गया था। वहीं, बाइडेन के बेटे ब्यू को ब्रेन कैंसर था। 2015 में उसकी मौत हो गई थी। तभी से जो बाइडेन अपनी हेल्थ को लेकर चिंतित थे।
जो बाइडेन को बढ़ती उम्र की बीमारियों ने घेर रखा है। कुछ रिपोर्ट्स में उन्हें डिमेंशिया का रोगी बताया जा रहा है। बाइडेन को 1988 में ‘ब्रेन एन्यूरिज्म’ भी हुआ था, जिसका वो इलाज करा चुके हैं। इसके दोबारा होने के सिर्फ 20% चांस हैं। बाइडेन अपना गाल ब्लैडर भी निकलवा चुके हैं। अमेरिकन फेडरेशन फॉर एजिंग रिसर्च के एक एकेडमिक पेपर के मुताबिक 79% चांस हैं कि बाइडेन बतौर राष्ट्रपति अपना पहला कार्यकाल पूरा होने तक जीवित रह पाएं।
15 अप्रैल 2022 को बाइडेन उत्तरी कैरोलिना की पेन्सिलवेनिया यूनिवर्सिटी में भाषण दे रहे थे। भाषण के खत्म होने के बाद बाइडेन अकेले ही हवा में हाथ मिलाते दिखे। इस कार्यक्रम में बाइडेन के साथ स्टेज शेयर करने वाला कोई नहीं था।
इससे पहले व्हाइट हाउस के एक कार्यक्रम में भी बाइडेन बहुत विचलित दिखाई दिए थे। उस कार्यक्रम में बराक ओबामा भी मौजूद थे। बाइडेन के आलोचक उन्हें ‘स्लीपी जो’ भी कहते हैं।