राष्ट्रपति से मिले राहुल गांधी, किसानों के समर्थन में सड़क पर उतरीं प्रियंका पुलिस हिरासत में

कृषि कानूनों पर घमासान जारी है। केंद्र के नए कृषि कानूनो के खिलाफ आंदोलन कर रहे किसान पिछले 30 दिनों से दिल्ली के बॉर्डर पर डटे हुए हैं। सरकार और किसानों के बीच में कई दौर की बातचीत हो चुकी है, मगर सभी बेनतीजा रही हैं। किसान तीनों कृषि कानूनों को वापस करने की मांग पर अड़े हैं। अब इन किसानों के प्रदर्शन को देखते हुए कांग्रेस नेता राहुल गांधी भी सड़क पर उतर चुके हैं। राहुल गांधी के नेतृत्व में कांग्रेस मार्च करने जा रही है। राहुल गांधी की अगुवाई में कांग्रेस पार्टी के वरिष्ठ नेताओं और सांसदों ने कल यानी 25 दिसंबर को कराष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मिले और दो करोड़ किसानों के हस्ताक्षरों के साथ ज्ञापन सौंपा। इसमें केंद्रीय कृषि कानूनों को निरस्त करने का आग्रह किया गया है।
दिल्लीः कृषि कानूनों के खिलाफ ज्ञापन लेकर कांग्रेस नेता राहुल गांधी, गुलाम नबी आजाद और अधीर रंजन चौधरी राष्ट्रपति भवन पहुंचे हैं। इसके बाद राहुल गांधी ने कहा कि मैंने राष्ट्रपित को कहा है कि ये कृषि कानून किसान विरोधी हैं। देश ने देखा है कि किसान इन कानूनों के खिलाफ खड़े हैं।
जवान किसान का बेटा होता है, जो किसानों की आवाज ठुकरा रहा है, अपनी जिद्द पर अड़ा हुआ है जबकि देश का अन्नदाता बाहर ठंड में बैठा है तो उस सरकार के दिल में क्या जवान, किसान के लिए आदर है या सिर्फ अपनी राजनीति, अपने पूंजीपति मित्रों का आदर है? :कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्र
दिल्ली पुलिस ने कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी को पुलिस हिरासत में ले लिया है।
दिल्ली: राष्ट्रपति भवन तक कांग्रेस के मार्च को पुलिस ने रोक दिया है। इस पर प्रियंका गांधी ने कहा, ‘इस सरकार के खिलाफ किसी भी असंतोष को आतंक के तत्वों के रूप में वर्गीकृत किया जाता है। हम किसानों के समर्थन में आवाज बुलंद करने के लिए यह मार्च कर रहे हैं।’
चाणक्यपुरी एसीपी प्रज्ञा ने कहा कि केवल उन नेताओं को राष्ट्रपति भवन जाने की अनुमति होगी, जिनके पास अनुमति है।
राष्ट्रपति भवन तक मार्च से पहले राहुल गांधी पार्टी के सीनियर नेताओं और सांसदों से पार्टी मुख्यालय पर मिले। कुछ देर में वह कृषि कानूनों के खिलाफ दो करोड़ हस्ताक्षर वाला ज्ञापन सौंपने राष्ट्रपति भवन जाएंगे।
मार्च से पहले राहुल गांधी ने ट्वीट किया, ‘भारत के किसान ऐसी त्रासदी से बचने के लिए कृषि-विरोधी क़ानूनों के ख़िलाफ़ आंदोलन कर रहे हैं। इस सत्याग्रह में हम सबको देश के अन्नदाता का साथ देना होगा।’

-राहुल गांधी के मार्च को दिल्ली पुलिस ने इजाजत नहीं दी है। दिल्ली पुलिस के अतिरिक्त डीसीपी दीपक यादव ने कहा कि आज राष्ट्रपति भवन में कांग्रेस के मार्च के लिए कोई अनुमति नहीं दी गई है। हालांकि, ज्ञापन सौंपने राष्ट्रपति भवन जाने वाले तीन नेताओं को जाने दिया जाएगा।

-गाज़ीपुर बॉर्डर पर कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों का विरोध प्रदर्शन जारी है।

एक प्रदर्शनकारी ने बताया, “जब तक कानून वापस नहीं लिया जाता तब तक हम हटेंगे नहीं..चाहे 10 साल लग जाएं। 6 बार की बातचीत हो चुकी है। सरकार चाहती तो हल निकाल सकती थी।”
पार्टी के संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल ने एक बयान में आरोप लगाया कि केंद्र सरकार ने पहले कृषि विरोधी कानून बनाकर किसानों को दर्द दिया और अब उसके मंत्री अन्नदाताओं का अपमान कर रहे हैं। उन्होंने कहा-कृषि विरोधी कानूनों को लेकर चल रहे सतत विरोध को आगे बढ़ाने और मजबूत करने के लिए कांग्रेस ने कानूनों के खिलाफ राष्ट्रव्यापी हस्ताक्षर अभियान शुरू किया था। इन कानूनों को वापस लेने की मांग के पक्ष में करीब दो करोड़ लोगों के हस्ताक्षर एकत्र किए गए हैं। कांग्रेस नेता ने दावा किया कि भीषण सर्दी के बीच किसान 28 दिनों से प्रदर्शन कर रहे हैं, अब तक 44 किसानों की जान जा चुकी है, अहंकारी सरकार के मंत्री किसानों का अपमान कर रहे हैं।

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आदर्श कुमार

संस्थापक और एडिटर-इन-चीफ