लालगंज /रायबरेली। श्री बालेश्वर धाम मंदिर में आयोजित श्रीमद् भागवत कथा ज्ञान यज्ञ में व्यासपीठ पर विराजमान बालेश्वर मंदिर के मुख्य पुजारी पंडित झिलमिल जी महाराज ने द्वितीय दिवस की कथा में बताया भगवान विष्णु के अवतार में से एक अवतार भगवान कपिल का है भगवान ब्रह्मा अपने पुत्र महर्षि कंदर्प की सृष्टि की वृद्धि के लिए आदेश दिया पिता की आज्ञा स्वीकार करके बिंदुसर तीर्थ के समीप जाकर कठोर तपस्या में लग गए। तप ही मनुष्य की समस्त इच्छाओं की पूर्ति का साधन था। तपस्या से प्रसन्न होकर भगवान नारायण प्रकट हुए तथा महाराज जी ने सृष्टि के विस्तार का रहस्य समझाया और कहां श्रीमद् भागवत कथा तृतीय स्कंध ज्ञान अमृत है जिसे सुनने से ही मोक्ष की प्राप्ति होती है। भगवान कपिल जी की जन्म कथा अत्यंत ही सुख शांति एवं मोक्ष दायिनी है तथा महाराज जी ने हिरणाचछ की कथा का विस्तारपूर्वक वर्णन किया कथा व्यास पंडित झिलमिल महाराज जी ने कहा मनुष्य से गलती हो जाना बड़ी बात नहीं है लेकिन ऐसा होने पर समय रहते सुधार और प्रायश्चित जरूरी है। ऐसा नहीं किया तो गलती पाप की श्रेणी में आ जाती है तथा भक्ति एक ऐसा उत्तम निवेश है जो जीवन में परेशानियों का उत्तम समाधान देती है साथ ही जीवन के बाद मौक्ष भी सुनिश्चित करती है। आज भगवत कथा के यजमान मुख्य रूप से राजेश यादव प्रधान प्रतिनिधि ऐहार तथा क्षेत्र के अन्य गणमान्य लोग मनोज पांडे कीर्ति मनोहर शुक्ला, आत्मानंद, शिवबरन, चौडिया राय शिव गोपाल गुप्ता, अतुल सिंह बघेल, आलोक श्रीवास्तव, भुट्टो बच्चा महाराज, टेनी बाबा, हलचल आदि भारी संख्या में महिला श्रोता मौजूद रही ।
सवांददाता: सर्वोदय मौर्य