लखनऊ में मंगलवार को विश्व धरोहर दिवस के मौके पर यूपी राज्य पुरातत्व विभाग की ओर से छतर मंजिल स्थित प्रशासकीय भवन में फोटो एग्जिबिशन और ड्राइंग कॉम्पिटिशन अयोजित किया गया। कार्यक्रम में चंद्र भाल मिश्रा चीफ गेस्ट रहे। फोटो एग्जिबिशन में यूनेस्को के वर्ल्ड हेरिटेज साइट में शामिल 40 भारतीय स्मारकों/स्थलों की लाजवाब तस्वीरें देखने को मिलीं।
साथ ही इसमें यूपी राज्य के सभी संरक्षित स्मारकों/स्थलों को भी शमिल किया गया। इनमें सिद्धार्थनगर के प्राचीन स्तूप से लेकर मथुरा की गोवर्धन छतरियां देखने को मिलीं। इसी विषय पर हुए ड्राइंग कॉम्पिटीशन में महिला महाविद्यालय लखनऊ की प्रियंका को पहला, नारी शिक्षा निकेतन की श्रीजल अग्रवाल को दूसरा और नगर निगम डिग्री कॉलेज की रागिनी सिंह को तीसरा पुरस्कार मिला।
इस दौरान चीफ गेस्ट मिश्रा ने भारत के अमूल्य विरासतों के विषय में विस्तार से बताया। उन्होंने कहा, “अभी तक पूरी दुनिया में लगभग 1154 स्थलों को विश्व धरोहर स्थल घोषित किया जा चुका है। भारत में 40 महत्वपूर्ण सांस्कृतिक और प्राकृतिक स्थलों/स्मारकों को विश्व धरोहर की स्मारकों की सूची में रखा गया है। जिसमें यूपी के तीन स्मारक ताजमहल, आगरा किला और फतेहपुर सीकरी शामिल हैं। प्राचीन भारतीय संस्कृति को जानने के लिए ऐतिहासिक इमारतों की संरक्षा करना जरूरी है
इसके बाद स्टूडेंट्स को हेरिटेज वॉक कराई गई। जिसमें नारी शिक्षा निकेतन पीजी कॉलेज, महिला महाविद्यालय, अटल बिहारी वाजपयी डिग्री कॉलेज के लगभग 100 स्टूडेंट्स ने हिस्सा लिया। सभी को डॉ. कृष्ण मोहन डूबे, राहुल यादव, देवेंद्र प्रताप सिंह और प्रकाश अंबेडकर ने छतर मंजिल और फरहत बक्श पैलेस का टूर कराया।
इस दौरान डॉ. कृष्ण मोहन ने स्टूडेंट्स को बताया, “1857 की गदर में इस कोठी का बहुत योगदान रहा। बेगम हजरत महल यहीं से अंग्रेजों के खिलाफ रणनीति बनाती थीं। आजादी के बाद इसे सीडीआरआई को दे दिया गया था। वर्तमान में ये यूपी राज्य पुरातत्व विभाग के अंतर्गत है।”इसके अलावा उन्होंने स्टूडेंट्स को कैसरबाग हेरिटेज जोन के बारे में भी बताया। इन ऐतिहासिक इमारतों को स्टूडेंट्स ने काफी रोचक तरीके से घुमा। साथ ही सभी ने जमकर इमारतों की फोटो क्लिक करी।