KGMU में जल्द होगी मुंह के कैंसर के इलाज की शुरुआत

KGMU में स्टेम सेल से दांतों की बीमारियों का इलाज होगा। स्टेम सेल से मुंह के कैंसर, ट्यूमर समेत दूसरी गंभीर बीमारियों के इलाज में मदद मिलेगी। यह जानकारी KGMU के डेंटल फैकल्टी में ओरल पैथोलॉजी माइक्रोबायोलॉजी एंड फॉरेंसिक ऑडेंटोलॉजी विभाग के अध्यक्ष डॉ. शालीन चन्द्रा ने दी।
न्यू डेंटल बिल्डिंग में राष्ट्रीय ओरल पैथोलॉजी दिवस पर डॉ. शालीन चन्द्रा ने बताया कि दो से तीन माह में स्टेम सेल से इलाज की प्रक्रिया शुरू होने की उम्मीद है। इलाज में मददगार कई मशीनें आ चुकी हैं। कुछ मशीन आने वाली हैं। स्टेम सेल से दांत की गंभीर बीमारी से पीड़ित मरीजों में टिश्यू को ग्रो कर इंप्लांट किया जा सकेगा। ऑपरेशन के बाद स्टे सेल का इस्तेमाल घाव भरने में किया जाएगा। विभाग में जल्द ही स्टेम सेल रिसर्च यूनिट भी शुरू की जाएगी। डॉ. पुनीत आहुजा ने कहा मरीज अगर इलाज छोड़ दे तो भी पांच साल तक डेंटल रेकॉर्ड रखना बेहद जरूरी है। वहीं जिस मरीज का इलाज चल रहा है और वो नियमित फॉलोअप के लिए आ रहा है। उसका 10 साल तक डेंटल रिकार्ड अस्पतालों को रखना होगा।
डॉ. शालिनी गुप्ता ने बताया कि मुंह या मसूड़ों की त्वचा में सफेद या लाल धब्बे नजर आ रहे हैं तो संजीदा हो जाएं। खासतौर पर तीन सप्ताह तक छाला बना रहे तो डॉक्टर को दिखाएं। यह मुंह के कैंसर का लक्षण हो सकते हैं। समय पर इलाज से बीमारी पर काबू पाया जा सकता है। मुंह का खुलना कम होना और अचानक मिर्च मसाला खाने में परेशानी होना, मुंह में सफेद लकीरें बनना और जलन होना, सूजन बनना और उसका लगातार बढ़ते रहना, गले में सूजन, मुंह की चमड़ी कड़ी हो जाना, अकारण खून बनना भी मुंह कैंसर के लक्षण होते हैं