हमने इस बात पर जोर दिया कि मुहर्रम के दौरान जो ताजिया बनते हैं, उनकी लंबाई को निर्धारित किया जाए और कांवड़ यात्रा के दौरान डीजे की आवाज को भी सीमित किया जाए ताकि किसी को असुविधा ना हो। मुहर्रम में लगभग 15,000 जुलूस हैं, सभी चीज़ें शांतिपूर्ण तरीके से हो रही हैं। हमने भारी मात्रा में फोर्स तैनात की थी ।