केशव प्रसाद मौर्य का बड़ा बयान, कहा- यूपी चुनाव के बाद केंद्रीय नेतृत्व और विधायक करेंगे मुख्यमंत्री का फैसला

विधानसभा चुनाव में नेतृत्व के सवाल पर मौर्य ने कहा कि, जब सरकार नहीं होती तो स्वाभाविक रूप से लोग मानने लगते हैं कि जो अध्यक्ष होगा वही सरकार बनने पर मुख्यमंत्री बनेगा. लेकिन वर्तमान में ”योगी आदित्यनाथ मुख्‍यमंत्री हैं. अभी तो हम भी मान रहे हैं और बाकी भी सभी मान रहे हैं कि 2022 के जब परिणाम आएंगे तो योगी जी ही मुख्यमंत्री होंगे. लेकिन, यह मेरे द्वारा नहीं कहा जा सकता है. उत्तर प्रदेश का अगला मुख्यमंत्री कौन हो, यह फैसला जो केंद्रीय नेतृत्व है, केंद्रीय संसदीय बोर्ड है और जो केंद्रीय पर्यवेक्षक आएंगे उनके जरिये उस समय जो विधायक दल होगा उसके द्वारा तय किया जाएगा.”

मौर्य ने कहा, ”मेरा व्यक्तिगत तौर पर एक कार्यकर्ता के नाते पार्टी की सफलता के लिए जी जान लगाने का संकल्प है और मैंने जो मेहनत 2017 के विधानसभा चुनाव में की है उससे ज्यादा मेहनत 2022 के चुनाव में करूंगा. 2022 के विधानसभा चुनाव में 2024 के लोकसभा चुनाव की लड़ाई होने वाली है…क्योंकि दिल्ली का रास्ता यूपी से होकर जाता है.” गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश में 2017 में विधानसभा चुनाव के समय केशव प्रसाद मौर्य भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष थे और तब उनकी अगुवाई में उत्तर प्रदेश में बीजेपी को 403 सीटों में से 312 और सहयोगी दलों को 13 सीटें मिली थीं. इस बहुमत के बाद केशव प्रसाद मौर्य को उत्तर प्रदेश के मुख्‍यमंत्री बनाये जाने की अटकलें लगी थीं लेकिन केंद्रीय नेतृत्व ने योगी आदित्यनाथ को मुख्‍यमंत्री और केशव प्रसाद मौर्य को उप मुख्‍यमंत्री बनाया. उत्तर प्रदेश में केशव प्रसाद मौर्य पिछड़ी जाति के बीजेपी के सबसे प्रमुख चेहरों में हैं.

एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा, ”यूपी में पिछड़ी जातियां 55 प्रतिशत हैं. 55 प्रतिशत समुदाय को उपेक्षित छोड़कर राजनीति करना या यूपी में काम करना संभव ही नहीं है.” उन्होंने कहा, ”हर वर्ग के उत्थान के लिए हम काम कर रहे हैं. 2014 से लेकर अब तक जो भी चुनाव जीते हैं उनमें सबसे बड़ा योगदान पिछड़े वर्ग का रहा है.” यह पूछे जाने पर कि पिछड़े वर्ग ने बीजेपी को भरपूर समर्थन दिया पर क्या पार्टी ने भी उसी अनुपात में पिछड़ों को प्रतिनिधित्व दिया है, मौर्य ने कहा, ”प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पिछड़े वर्ग से ही आते हैं. बीजेपी लगातार सामाजिक उत्थान और सामाजिक समरसता की दृष्टि से सोचती है और काम करती है. समाज के हर हिस्से- पिछड़ा, अगड़ा, अनुसूचित वर्ग, आदिवासी वर्ग सबको भरोसा दिलाते हैं.” बहुजन समाज पार्टी और समाजवादी पार्टी की ओर से ब्राह्मण सम्मेलन आयोजित किये जाने के संदर्भ में यह पूछे जाने पर कि क्या ब्राह्मण बीजेपी से नाराज हैं, उप- मुख्यमंत्री ने कहा कि बीजेपी से कोई भी वर्ग नाराज नहीं है. उन्होंने कहा, 2017 में जिन दलों को विपक्ष में रहकर जनता की सेवा का उत्तरदायित्व मिला था वह अपना उत्तरदायित्व भूल गये थे. उन्होंने कहा, ”चुनावी मौसम में जैसी सक्रियता कुछ दलों और नेताओं की दिखती है इसके सिवा इन सम्मेलनों का कोई निहितार्थ नहीं है. बीजेपी जितनी ताकतवर 2017 में थी उससे ज्यादा ताकतवर 2022 में होगी.”

मौर्य ने कहा, हर समाज का सम्मान होना चाहिए व उसकी जो समस्या है उसका समाधान होना चाहिए और जो तमाम प्रकार की महत्वाकांक्षा होती है, उसकी पूर्ति समाज के अन्य वर्गों के हितों को दृष्टिगत रखते हुए करना चाहिए. उन्होंने कहा, इसका मैं समर्थन करता हूं कि कोई भेदभाव सत्ता के माध्‍यम से नहीं होना चाहिए. हमारी सरकार में कोई भेदभाव नहीं हो रहा है.’