कारागार एवं होमगार्डस राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) धर्मवीर प्रजापति ने कारागार मुख्यालय लखनऊ पर जेल विभाग के अफसरों के साथ विभागीय समीक्षा बैठक की। उन्होंने 2022 में विभाग की ओर से किये गये महत्वपूर्ण कार्यों पर चर्चा की। अफसरों की तारीफ करते हुए कहा कि आगे भी अच्छे से काम करे ताकि विभाग का नाम हो।
उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि सभी अपनी-अपनी जेलों से 7 साल से कम सजा वाले विचाराधीन कैदियों की सूची उपलब्ध कराएं। साथ में सुझाव भी दें, जिससे कि विचाराधीन कैदियों की संख्या को कम से कम किया जा सके।
उन्होंने कहा कि कैदियों को ठंड से बचाने के लिए सभी जरूरी कदम उठाए जाए। जरूरत पड़ने पर स्वयं सेवी संस्थाओं-समाजसेवियों की मदद ली जाए। कम्बल वितरण का काम जल्द पूरा कराएं। ताकि ठंड की वजह से किसी भी कैदी की मौत न हो। जेल मंत्री ने कहा कि ऐसे कैदियों की फाइलें मुख्यालय भिजवाएं जो दया याचिका के मानकों को पूरा करते हैं। साथ ही ऐसे दया याचिका के मामलों में आ रही बाधाओं के बारे में भी उल्लेख करें, जिससे कि ऐसे कैदियों को रिहा कराए जा सके। लम्बित केसों में पैरवी ठीक-ठीक कराएं, जिससे कि विचाराधीन कैदियों को समय से जमानत मिल सके।
उन्होंने ये भी कहा कि ऐसे कैदी जिनसे एक साल से कोई परिवारीजन मिलने न आया हो। उनकी सूची मुख्यालय को उपलब्ध कराएं। जेलों में संवाद के दौरान बहुत से कैदी ऐसे हैं जिनकी आयु 40 वर्ष से कम हैं और जो छोटे-मोटे अपराधों में बंद हैं, उनको रोजगार से जोड़ने के लिए कौशल विकास के माध्यम से ट्रेनिंग दिया जाए जिससे उन्हें समाज की मुख्य धारा से जोड़ा जा सके।