चीनी विदेश मंत्री के कश्मीर का जिक्र करने पर भारत ने दिखाई नाराजगी

इस्लामिक सहयोग संगठन यानी ओआईसी के विदेश मंत्रियों की परिषद की दो दिवसीय बैठक में एकबार फ‍िर कश्मीर का मुद्दा उछाला गया। चीनी विदेश मंत्री वांग यी ने भी कश्‍मीर मसले पर बयान दिया। वांग यी के बयान पर भारतीय विदेश मंत्रालय ने कड़ी नाराजगी जताई है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्‍ता अरिंदम बागची ने बुधवार को चीन के विदेश मंत्री वांग यी के जम्मू-कश्मीर पर दिए बयान को गैर-जरूरी बताते हुए खारिज कर दिया।
अरिंदम बागची ने कहा कि चीन समेत किसी भी देश को कश्‍मीर मसले पर टिप्पणी करने का कोई अधिकार नहीं है। हम पाकिस्तान में ओआईसी परिषद के उद्घाटन समारोह में भाषण के दौरान कश्‍मीर मसले पर चीनी विदेश मंत्री वांग यी के भारत के लिए अनावश्यक संदर्भ को अस्वीकार करते हैं। जम्मू-कश्मीर पूरी तरह से भारत का आंतरिक मसला है। बागची ने यह भी कहा कि उनको (चीनी विदेश मंत्री वांग यी) ध्यान देना चाहिए कि भारत उनके आंतरिक मसलों पर सार्वजनिक बयानबाजी नहीं करता है।
बता दें कि इस्लामिक सहयोग संगठन यानी ओआईसी की बैठक में चीनी विदेश मंत्री वांग यी ने कहा था कि कश्मीर मुद्दे पर हमने एक बार फिर कई इस्लामी देशों की बात सुनी। चीन भी यही उम्मीद साझा करता है। गौर करने वाली बात यह भी कि वांग यी ने अपने संबोधन में फिलिस्तीन पर भी बात की लेकिन चीन में उइगर मुस्लिमों के उत्‍पीड़न के मुद्दे का जिक्र करने से परहेज किया।
ऐसा नहीं है चीन की ओर से ऐसी हरकत पहली बार की गई है। चीन पहले भी पाकिस्‍तान के समर्थन में बयानब‍ाजियां करता रहा है। अगस्त 2019 जब भारत सरकार ने अनुच्छेद- 370 को निरस्त कर दिया था तब चीन ने कहा था कि वह कश्मीर की मौजूदा स्थिति के बारे में गंभीर रूप से चिंतित है। इसके साथ ही चीन ने लद्दाख को एक अलग केंद्र शासित प्रदेश बनाने के भारत के कदम का भी विरोध किया था।