घरेलू जिम कैसे बनाएं

‘सनी फिटनैस फैक्टरी’ के जरिए युवाओं को फिटनैस मंत्र दे रहे सनी मेहरोत्रा और सोनिया मेहरोत्रा कहते हैं, ”आज के समय में तेजी से ब्लडप्रैशर, डायबिटीज और कोलैस्ट्रौल की बीमारी बढ़ रही है, इस की खास वजहें नशा करना, हैल्दी डाइट न लेना और ऐक्सरसाइज न करना हैं. नशा करने से बौडी कई तरह की बीमारियों से घिर जाती है और कुछ सालों में ही बौडी कमजोर हो कर खत्म सी हो जाती है. ऐसे में जरूरी है कि लोग नियमित ऐक्सरसाइज करें. जिम जाना सब के लिए सुलभ नहीं होता, तो लोग अपने घर में पर्सनल जिम बना सकते हैं.”

जिम वेट बढ़ाने और कम करने दोनों के लिए ही होता है. ऐक्सरसाइज के जरिए ही फिटनैस हासिल की जाती है. इस के लिए नियमित ऐक्सरसाइज करना जरूरी होता है. कई बार यह देखा जाता है कि लोग एकदो दिन की ऐक्सरसाइज करने के बाद ही जिम जाना छोड़ देते हैं. ऐसे लोगों के लिए जरूरी है कि वे घर में अपना पर्सनल जिम बना लें.

फिटनैस ऐक्सपर्ट अर्चना तिवारी कहती हैं, ”पर्सनल जिम 50 हजार रुपए तक में खोला जा सकता है. इस के लिए घर में एक खाली जगह होनी चाहिए. घर में जिम बनाने के लिए सब से ज्यादा जरूरी डंबल होते हैं. ये अलगअलग साइज के होते हैं. इन की कीमतें भी अलगअलग होती हैं. डंबल के 2 हिस्से होते हैं. एक में डंबल दूसरे में राड होती है. वजन के हिसाब से केवल डंबल बदलना होता है. इस के अलावा जिम में एक बैंच होनी जरूरी है. बैंच के सहारे कई तरह की ऐक्सरसाइज की जाती हैं. इस के अलावा ट्रेडमिल पर्सनल जिम में जरूरी होता है. मल्टी जिम नाम से एक अलग मशीन आती है. इस तरह आप साधारण रूप से घर में जिम बना सकते हैं.”

टोंड आर्म : बेहतर फिटनैस और फिजीक के लिए बाजुओं का भी स्ट्रौंग और टोंड होना जरूरी होता है. इस के लिए कुछ ऐक्सरसाइज हैं जो आर्म्स को टोंड और स्ट्रौंग बनाती हैं. आर्म के 2 हिस्से होते हैं, पहला बाइसैप्स और दूसरा ट्राइसैप्स. दोनों ही हिस्सों के लिए अलगअलग ऐक्सरसाइज होती है.

अल्टरनेट हैमर कर्ल : अल्टरनेट हैमर कर्ल करने के लिए सीधे खड़े हो जाएं. रीढ़ की हड्डी जितनी हो सके सीधी रखें. अब दोनों हाथों में समान वजन के डंबल्स लें. डंबल्स अंदर की तरफ रखें. इस के बाद दाएं हाथ को चैस्ट तक ऊपर ले जाएं और धीरेधीरे नीचे लाएं. अब इसी क्रिया को बाएं हाथ से दोहराएं. फिर पूरी प्रक्रिया को 10 से 15 बार करते रहें.

प्लांक आर्म ऐक्सरसाइज : प्लांक आर्म ऐक्सरसाइज न केवल बाजुओं बल्कि एब्स मसल्स को भी मजबूत बनाती है. प्लांक आर्म करने के लिए पेट के बल लेट जाएं और फिर माथे को जमीन से छुआएं. इस के बाद शरीर के ऊपरी हिस्से से कुहनी को आगे लाते हुए कुहनी को जमीन से और पैरों को पंजों के ऊपर टिका दें. अब पेट व जांघों को धीरेधीरे ऊपर की ओर उठाने की कोशिश करें. इस के रोज 10 राउंड करें.

एल्बो प्लांक : प्लांक आर्म ऐक्सरसाइज करने के बाद एल्बो प्लांक करें. इसे करने के लिए पीठ के बल लेट जाएं. फिर दाएं पैर को बाएं पैर के ऊपर रखें. हाथों को सीधे सिर के ऊपर तक उठाएं. लेकिन ध्यान रहे कि बाजू कान से छूते हुए जाएं. इस के बाद अपने शरीर को रैगुलर क्रंच की तरह ऊपर उठाएं. फिर शरीर के ऊपरी हिस्से पर दबाव डालते हुए अपनी कुहनी से घुटने को छूने की कोशिश करें. दूसरे पैर से भी इस प्रकिया को दोहराएं.

रिवर्स बारबेल कर्ल : रिवर्स बारबेल कर्ल को ई-जेड बार के साथ करने पर अधिक फायदा होता है. आप इसे साधारण तरीके से भी कर सकते हैं.

3 सैट 10 रैप की इस कसरत का मकसद अपर मसल के नीचे की मसल्स को लाभ देना होता है.

स्टैंडिंग डंबल ट्राइसैप्स ऐक्सटैंशन : कमर में दर्द की शिकायत वाले लोग स्टैंडिंग डंबल ट्राइसैप्स ऐक्सटैंशन को बैठ कर भी कर सकते हैं. इसे रस्सी लगा कर मशीन के साथ भी किया जा सकता है क्योंकि डंबल में कई बार ग्रिप अच्छी नहीं बन पाती. इस के रोजाना 3 सैट और 15 रैप लगाएं.

इंक्लाइन डंबल कर्ल : इंक्लाइन डंबल कर्ल एक कमाल की बाइसैप्स की कसरत है. यह सीधे बाइसैप्स के सहारे होती है. इस का पूरा फायदा बाजुओं को ही मिलता है. यदि इस के कई रैप नहीं निकल पा रहे हैं तो डंबलों को नीचे लाने के बाद हथेलियों को पैरों की ओर कर लें. और फिर ऊपर ले जाते समय फिर से सीधे ले जाएं. इस के 3 सैट और 15 रैप किए जा सकते हैं.

क्लोज ग्रिप बैंचप्रैस : ट्राइसैप्स की 2 बेहतरीन कसरतें हैं, एक ट्राएंगल पुशअप्स और दूसरी क्लोज ग्रिप बैंचप्रैस. बाइसैप्स को टोंड करने के लिए ट्राइसैप्स पर काम करना भी बेहद जरूरी होता है. मोटे, मजबूत ट्राइसैप्स की इस कसरत से चैस्ट पर भी काम होता है. इस में आप हैवी वेट भी लगा सकते हैं. लेकिन ध्यान रहे कि इसे करते समय एक अच्छा रिस्ट बैंड भी इस्तेमाल करें.

ट्रेडमिल ऐक्सरसाइज : आप कोई भी कसरत कर लें, जब तक आप ट्रेडमिल पर दौड़ नहीं लगा लेते, वर्कआउट अधूरा ही माना जाता है. उम्र, वजन या लिंग चाहे जो कुछ भी हो, ट्रेडमिल पर वर्कआउट करने से बहुत फायदे होते हैं. इस से शरीर फिट तो रहता ही है, साथ ही, आप के शरीर के सारे अंग भी चुस्त बने रहते हैं. ट्रेडमिल ऐक्सरसाइज के पूरे फायदे लेने के लिए इसे ठीक से करना जरूरी है.

ट्रेडमिल पर रनिंग करने से न केवल वजन घटता है बल्कि शरीर की मासपेशियां भी टोन होती हैं. ध्यान रहे, अच्छे शेप में आने के लिए मांसपेशियों का टोन होना जरूरी है. ट्रेडमिल पर ऐक्सरसाइज करने से पैर, जांघ, पेट और कूल्हे पर जोर पड़ता है और इन का शेप बेहतर होता है. ट्रेडमिल पर दौड़ने से शरीर में औक्सीजन की मात्रा ठीक होती है और इस का प्रवाह ठीक होता है. इसे करने से पसीना आता है और त्वचा के पोर्स खुल जाते हैं. इस से शरीर से गंदगी बाहर निकलती है और त्वचा कुछ ही दिनों में चमकदार बन जाती है, जो आप को सुंदर बनाती है.

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