छत्तीसगढ़ के जिला रायसेन में मजदूर की 13 साल की बेटी ने ईमानदारी की मिसाल पेश की। बेटी कक्षा 6वीं में पढ़ती है। पिता मजदूरी से 200 रुपए रोज कमाकर परिवार का पालन करते हैं। बेटी को उन्होंने जो संस्कार दिए, उसकी तारीफ हो रही है। बेटी को जब 7 लाख रुपए के गहनों से भरा बैग मिला तो उसका ईमान नहीं डगमगाया। उसने पिता के साथ थाने पहुंचकर यह बैग लौटा दिया। लोगों ने भी बिटिया का सम्मान किया।
उदयपुरा थाना प्रभारी प्रकाश शर्मा ने बताया कि सिलारी के रहने वाले मंगल सिंह अहिरवार की बेटी रीना शनिवार को स्कूल से घर लौट रही थी। अनघोरा रोड पर उसे बैग मिला। इसमें सोने के जेवर थे। वह बैग लेकर घर चली गई। देर रात पिता घर आए, तब बेटी ने उन्हें बैग के बारे में बताया। मंगल अगले दिन बेटी के साथ उदयपुरा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के डॉ. एमएल बड़कुल के पास पहुंचे। उन्होंने पुलिस को बैग मिलने की सूचना दी। साथ ही बच्ची को थाने लेकर आए। सोमवार को सूचना के बाद जब बैग लेने परिवार आया तो उसकी खुशी का ठिकाना नहीं रहा।
बैग के असली मालिक ने बताया की उस के पास 14 तोला सोना सहित करीब 7 लाख रुपए का सामान था। बैग ककरुआ और उदयपुरा के बीच गिर गया था। यशपाल परमार ने बैग को खोजने का प्रयास भी किया। सोशल मीडिया पर भी बैग लौटाने वाले को इनाम देने की घोषणा की। जब यह बैग नहीं मिला ताे इसकी जानकारी उदयपुरा थाने में भी दी गई। सोमवार को जब उन्हें आभूषण से भरा बैग मिलने की सूचना मिली तो उनकी खुशी दोगुनी हो गई। यशपाल परमार ने रीना को 51 हजार रुपए और कपड़े देकर धन्यवाद किया।