इजराइल की संसद नीसेट की एक कमेटी के सामने हेल्थ मिनिस्ट्री के अफसर हुए पेश

इजराइल की हेल्थ मिनिस्ट्री ने संसद (नीसेट) की एक कमेटी के सामने बड़ा खुलासा किया है। हेल्थ मिनिस्ट्री के अफसरों ने कमेटी को बताया कि हमास ने जो बंधक छोड़े, उन्हें रिहाई के पहले ड्रग्स दिए गए थे। दरअसल, आतंकी संगठन हमास दुनिया को ये दिखाना चाहता था कि सभी होस्टेज फिट और बहुत खुश हैं
एक अहम खबर रेड सी और अमेरिकी नेवी के हवाले से आ रही है। इसके मुताबिक, ईरान और उसके सहयोगियों की हरकतों से निपटने के लिए अमेरिका अब कुछ देशों के साथ मिलकर टास्क फोर्स बनाने जा रहा है।
इजराइल की संसद नीसेट की एक कमेटी के सामने हेल्थ मिनिस्ट्री के अफसर पेश हुए। कमेटी ने इनसे हमास की कैद से रिहा हुए बंधकों पर सवाल पूछे। इस दौरान अफसरों ने कहा- हमास ने रिहाई से पहले बंधकों को ड्रग्स दिए। इसका मकसद यह था कि नशे में ये लोग जब दुनिया के सामने आएं तो खुश और फिट दिखें। इसकी वजह यह थी कि कैद में इनको खतरनाक तरीके से टॉर्चर किया गया था।
अफसरों ने आगे कहा- हमारे सामने सबसे बड़ा चैलेंज यह है कि बंधक गहरे सदमे या कहें ट्रॉमा में हैं और इन्हें इससे निकालना मुश्किल काम है। एक अफसर ने तो यहां तक कहा कि उसने अपनी जिंदगी में इस तरह के केस नहीं देखे। कुछ बंधकों के नाम भी कमेटी को बताए गए।
लाल सागर यानी रेड सी में ईरान और उसके सहयोगी आतंकी संगठन जैसे हूती, अमेरिका और उसके सहयोगी देशों के लिए खतरा बनते जा रहे हैं। अमेरिका और उसके सहयोगी देशों ने इससे निपटने की तैयारी कर ली है। ईरान की सरकार और फौज हमारा सीधा मुकाबला नहीं करना चाहती। उसने हूती जैसे कुछ आतंकी संगठनों को हथियार और दूसरे सामान दिए हैं। यही गुट लाल सागर में अमेरिका और उसके मित्र देशों के लिए परेशानी पैदा कर रहे हैं।
अब अमेरिका ने इस चैलेंज से निपटने के लिए प्लान तैयार किया है। इसके तहत जल्द ही अमेरिका और उसके सहयोगी देशों की नौसेना अपने स्पेशल कमांडो और सर्विलांस एयरक्राफ्ट यहां तैनात करने जा रहे हैं। इसके अलावा एक कॉम्बेट यूनिट भी यहां जल्द पहुंचने वाली है। नेशनल सिक्योरिटी एडवाइजर जेक सुलिवन ने यह प्लान प्रेसिडेंट के सामने मंगलवार को पेश किया।
इजराइल पर 7 अक्टूबर को हुए हमास के हमले के करीब 2 महीने बाद UN में सोमवार को एक स्पेशल सेशन हुआ। इसमें इजराइल ने हमास पर इजराइली महिलाओं के खिलाफ यौन अपराध के आरोप लगाए।
UN में इजराइल के राजदूत गिलाड एर्दान ने कहा- 7 अक्टूबर को इजराइल ने सेकेंड वर्ल्ड वॉर के बाद का सबसे बड़ा जनसंहार देखा। इजराइलियों पर की गई ज्यादतियां ISIS और हिटलर के किए अत्याचारों से भी बुरी थी। उन्होंने कहा- हमास ने परिवारों को जिंदा जलाया, माता-पिता के सामने बच्चों के सिर कलम किए।
उनके अपराध यहीं नहीं रुके। हमास ने रेप और यौन हिंसा का इस्तेमाल हथियारों की तरह किया। हैरानी की बात ये है कि इन ज्यादतियों पर अंतर्राष्ट्रीय संस्थाएं चुप रहीं। मैं साढ़े तीन साल से UN में इजराइल का प्रतिनिधित्व कर रहा हूं, लेकिन मैनें कभी UN की एजेंसियों का ऐसा व्यवहार नहीं देखा।
इजराइल ने सबूत के तौर पर म्यूजिक फेस्ट में बचने वाले लोगों की गवाही के वीडियो चलाए। इनमें एक गवाह ने कहा कि हमास ने महिलओं के निजी अंगों पर गोलियां चलाईं। उनकी चेस्ट और जेनिटल एरिया में गोलियों के निशान मिले हैं।
हमास के साथ जंग के बीच इजराइली सेना गाजा में सुरंगों के अंदर भूमध्य सागर का पानी छोड़ने की तैयारी कर रही है।इसके लिए गाजा के अल-शाती अस्पताल के पास 5 बड़े वॉटर पम्प लगाए गए हैं।
इसके जरिए हर घंटे सुरंगों में हजारों क्यूबिक मीटर पानी छोड़ा जाएगा। इजराइल ने अमेरिका को भी नवंबर में इसकी जानकारी दी थी। हालांकि, ऐसा कब होगा, इसकी कोई तारीख अब तक तय नहीं की गई है।
दूसरी तरफ, इजराइल ने साउथ गाजा के खान यूनिस और दूसरे इलाकों पर हमले तेज कर दिए हैं। इजराइली सेना IDF ने कहा है कि 7 दिन के सीजफायर के दौरान उनके सैनिकों ने जंग के लिए तैयारी की। वो नॉर्थ के बाद अब साउथ गाजा में भी हमास को मिटाने के लिए तैयार हैं।
टैंकों के साथ साउथ गाजा में ऑपरेशन चला रही IDF ने गाजा पट्टी के नॉर्थ-साउथ हाईवे को जंग का मैदान घोषित कर दिया। इजराइल ने सोमवार को गाजा में मौजूद हमास की कोर्ट जस्टिस पैलेस पर कब्जा कर इसे तबाह कर दिया। सेना ने दावा किया है कि जंग शुरू होने के बाद से गाजा में करीब 15 हजार से ज्यादा लोगों की मौत हुई है। इनमें करीब 5 हजार हमास के लड़ाके थे।