सीमा पर रक्षा करते या आतंकी हमले में बलिदान हुए विवाहित बलिदानियों के भाई भी अब अनुकंपा के आधार पर नौकरी पा सकेंगे। कैबिनेट बाई सर्कुलेशन में विवाहित बलिदानियों के आश्रितों को नौकरी देने के नियमों में संशोधन किया गया है। देश की रक्षा करते हुए बलिदान हुए बलिदानियों के एक आश्रित को प्रदेश सरकार नौकरी देती है। वर्ष 2024 में 12 बलिदानियों के आश्रित को नौकरी दी गई है बलिदान होने वाले विवाहित और अविवाहित जवानों के आश्रित को नौकरी देने के लिए नियम पूर्व में बनाए गए थे। विवाहित जवान के बलिदानी होने पर अब तक उनकी पत्नी, पुत्र या विधवा पुत्रवधू, अविवाहित पुत्रियां, कानून संगत दत्तक पुत्र या पुत्री के अलावा माता-पिता को नौकरी देने की व्यवस्था थी। कई बार बलिदान होने वाले जवान की पत्नी उनके भाई से विवाह कर लेती हैं। ऐसे में अब आश्रितों की सूची में बलिदानी के भाई भी शामिल होंगे। इससे बलिदानियों के भाई को भी नौकरी मिल सकेगी। विवाह न करने की स्थिति में किन्हीं कारणवश विवाहित बलिदानी के पूर्व निर्धारित आश्रितों को नौकरी नहीं मिल पाती है तो उस दशा में भी उनके भाई को सरकार नौकरी देगी। सोमवार को कैबिनेट बाई सर्कुलेशन के जरिये कुल 10 प्रस्ताव पास हुए।
योगी सरकार का बड़ा फैसला, अब शहीद के भाई को भी मिल सकेगी सरकारी नौकरी
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