आजमगढ़।: महापुरुषों के प्रतिमाओं की स्थापना कर भूले जिम्मेदार

आजमगढ़। आजमगढ़ नगर के विभिन्न चौराहों और तिराहों पर महापुरुषों की प्रतिमाएं स्थापित की गई हैं। नगर पालिका क्षेत्र में होने के कारण इनके रखरखाव की जिम्मेदारी नगरपालिका प्रशासन की होती है लेकिन उसने जब इनकी सुधि नहीं ली तो स्वयं सेवी संगठनों ने इनके रख-रखाव की जिम्मेदारी स्वयं उठा ली। जनपद में ऐसे कई महापुरुष है जिन्होंने आजादी की लड़ाई में अपना योगदान दिया या साहित्य के क्षेत्र में अपना परचम फहराया। ऐसे लोगों को लोग भूले नहीं बल्कि उन्हें याद रखें इसके लिए नगर क्षेत्र के प्रमुख चौराहों और तिराहों पर सरदार भगत सिंह, महाराणा प्रताप सिंह छत्रपति शिवाजी महाराज आदि महापुरुषों की प्रतिमाएं स्थापित की गई। नगरपालिका प्रशासन के कंधों पर इनके देखरेख की जिम्मेदारी है। लेकिन नगरपालिका अपनी इस जिम्मेदारी का निर्वहन ठीक ढ़ंग से नहीं करती है। महापुरुषों के प्रतिमाओं की यह दुर्दशा देख स्वयं सेवी संगठन समय-समय पर इनकी साफ-सफाई करते नजर आते हैं। जहां सारथी सेवा संस्थान द्वारा इनकी साफ-सफाई की जाती है। वहीं भारत रक्षा दल द्वारा इनकी साफ-सफाई करने के साथ ही विभिन्न अवसरों पर इनकी मूर्ति पर माल्यार्पण आदि करने के लिए सीढ़ी लगाने का कार्य अपने खर्च पर किया गया है।

आजमगढ जनपद में अगर लोक सभा या विधानसभा या नगरपालिका का चुनाव हो तो यह मूर्ति स्थल लोगों के प्रचार का माध्यम बन जाते हैं। चाहे वह कलेक्ट्रेट चौराहे पर लगी बाबू विश्राम राय की प्रतिमा हो या नगरपालिका तिराहे पर लगी महाराजा अग्रसेन की प्रतिमा। हर प्रतिमा पोस्टर और बैनर से पटी नजर आती हैं। कोचिंग संस्थान और स्कूल कालेज के पोस्टर भी इनकी शोभा बढ़ाते नजर आते हैं।