95 टेस्ट में 490 विकेट ले चुके अश्विन, 8 बार मैच में 10 विकेट लिए

रविचंद्रन अश्विन टेस्ट में 500 विकेट पूरे करने से महज 10 विकेट दूर हैं। वह 95 टेस्ट खेल चुके हैं और इंग्लैंड के खिलाफ 25 जनवरी से शुरू हो रही 5 मैचों की सीरीज में 100वां टेस्ट खेल सकते हैं। अश्विन सीरीज में 13 विकेट लेते ही एशिया में भी 400 विकेट पूरे कर लेंगे।
मौजूदा स्पिनर्स में ऑस्ट्रेलिया के नाथन लायन ही अश्विन से ज्यादा टेस्ट विकेट ले सके हैं लेकिन वह एक विकेट लेने के लिए 63 गेंदें फेंकते हैं। जबकि अश्विन हर 51वीं बॉल पर ही विकेट झटक लेते हैं। जो उनसे ज्यादा टेस्ट विकेट लेने वाले 8 बॉलर्स से बेहतर है।
एक्टिव स्पिनर्स में लायन, रवींद्र जडेजा और शाकिब अल हसन ही अश्विन के मुकाबले में खड़े नजर आते हैं। जानते हैं अश्विन के मुकाबले इनका टेस्ट प्रदर्शन कैसा है?
95 टेस्ट में 490 विकेट ले चुके अश्विन, 8 बार मैच में 10 विकेट लिए
रविचंद्रन अश्विन 95 टेस्ट में 490 विकेट ले चुके हैं। वे 8 बार एक मैच में 10 या उससे ज्यादा विकेट भी ले चुके हैं। अश्विन टेस्ट में करीब हर 51वीं बॉल पर एक विकेट निकालते हैं। टेस्ट में सबसे ज्यादा विकेट के नाम पर वह भारत के दूसरे सबसे सफल बॉलर हैं। लेग स्पिनर अनिल कुंबले ही उनसे ज्यादा 619 विकेट ले सके हैं।
2019 में शुरू हुई वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप (WTC) के 30 मैचों में अश्विन 148 विकेट ले चुके हैं। WTC के टॉप विकेट टेकर्स में वह तीसरे नंबर पर हैं। ऑस्ट्रेलिया के नाथन लायन और पैट कमिंस उनसे आगे हैं।
एशिया में अश्विन के नाम महज 46 टेस्ट में 387 विकेट लेते हैं। स्पिन कंडीशन में वह हर 46वीं गेंद पर ही विकेट निकाल लेते हैं। सीरीज में 13 विकेट लेते ही वह एशिया में 400 विकेट लेने वाले पहले एक्टिव स्पिनर बन जाएंगे। ओवरऑल उनसे ज्यादा विकेट श्रीलंका के मुथैया मुरलीधरन (618) और भारत के ही अनिल कुंबले (419) ने लिए हैं।
अश्विन इंग्लैंड के खिलाफ सीरीज में 10 विकेट लेते ही 500 टेस्ट पूरे कर लेंगे। अब तक 8 ही गेंदबाज 500 टेस्ट विकेट ले सके हैं, अश्विन ऐसा करने वाले 9वें गेंदबाज और पांचवें स्पिनर बन सकते हैं। भारत की स्पिन पिचों को देखते हुए संभव है कि अश्विन का गेंदबाजी स्ट्राइक रेट भी 50 से नीचे पहुंच जाए। जो उनसे ज्यादा विकेट लेने में कोई नहीं कर सका है।
ऑस्ट्रेलियाई स्पिनर नाथन लायन के नाम 512 विकेट हैं, लेकिन वे 126 मुकाबले खेल चुके हैं। जबकि अश्विन ने 95 मैच ही खेले हैं। यानी लायन हर मैच में औसतन 4 और अश्विन औसतन 5 विकेट लेते हैं। टेस्ट क्रिकेट में अश्विन का बॉलिंग स्ट्राइक रेट (एक विकेट लेने में डाली गई बॉल) भी लायन से बेहतर हैं। अश्विन टेस्ट में हर 51वीं बॉल पर विकेट लेते हैं, जबकि लायन को एक विकेट निकलने में 63 बॉल डालनी पड़ती हैं।
WTC में भी बॉलिंग स्ट्राइक रेट के मामले में भारतीय स्पिनर आगे हैं। चैंपियनशिप में लायन 60.5 के बॉलिंग स्ट्राइक रेट से 169 विकेट ले चुके हैं और टूर्नामेंट के टॉप विकेट टेकर हैं। जबकि अश्विन 46.3 के स्ट्राइक रेट से 148 विकेट ले चुके हैं। मौजूदा सीजन में अश्विन ने 3 मैचों में 40.87 के स्ट्राइक रेट से 16 विकेट लिए हैं, जबकि लायन ने 6 मैचों में 44.56 के स्ट्राइक रेट से 25 विकेट हासिल किए हैं।
एशिया की पिचें स्पिनर्स के लिए जन्नत की तरह होती हैं। लेकिन यहां भी लायन को एक विकेट लेने के लिए करीब 62 गेंदें लग जा रही हैं। जबकि एशिया में अश्विन 46वीं बॉल पर ही विकेट झटक लेते हैं।
दोनों भारतीय स्पिनर्स हैं, लेकिन अश्विन कई मामलों में रवींद्र जडेजा से बेहतर हैं। बात चाहे एशिया में विकेट की हो या फिर करियर विकेट की या फिर स्ट्राइक रेट की। रविचंद्रन अश्विन ने टेस्ट करियर में 8 बार एक मैच में 10 या इससे ज्यादा विकेट लिए, जबकि जडेजा दो बार ही ऐसा कर सके हैं।
टेस्ट करियर में जडेजा ने 68 मैचों में 59.46 के स्ट्राइक रेट से 275 विकेट हासिल किए हैं। जडेजा को एक विकेट लेने में 59 गेंद डालनी पड़ती हैं, जो अश्विन से 8 ज्यादा है। जडेजा बैटिंग और फील्डिंग के मामले में जरूर अश्विन से बेहतर हैं। यही वजह है कि पिछले 10 सालों में विदेश के ज्यादातर टेस्ट में अश्विन की जगह उन्हें टीम इंडिया की प्लेइंग-11 में प्राथमिकता दी गई।
WTC के 27 मैचों में जडेजा ने 83 विकेट चटकाए हैं, यानी कि एक मैच में औसतन 3 विकेट। जबकि अश्विन हर मैच में औसतन 5 विकेट ले रहे हैं। मौजूदा सीजन के 3 मैचों में जडेजा 7 ही विकेट ले सके हैं, जो अश्विन से 9 कम हैं।
एशिया में जरूर जडेजा बहुत तेजी से विकेट लेते हैं। उनके नाम 42 टेस्ट में 207 विकेट हैं, यानी हर मैच में औसतन अश्विन के बराबर 5 विकेट। वह हर 54वीं गेंद पर विकेट लेते हैं, यहां जरूर अश्विन उनसे 8 गेंदें कम फेंक कर सफलता हासिल कर लेते हैं।
दुनिया के टॉप एक्टिव स्पिनर्स में अश्विन, लायन और जडेजा के सामने बांग्लादेश के शाकिब अल हसन बेहद कमजोर नजर आते हैं। लेकिन शाकिब 2007 में अश्विन से 4 साल पहले ही डेब्यू कर चुके हैं और अब तक टेस्ट खेल रहे हैं। 36 साल के शाकिब फिलहाल दुनिया के बेस्ट लेफ्ट आर्म स्पिनर्स में शामिल हैं।
शाकिब ने अब तक 66 टेस्ट में 63.4 के बॉलिंग स्ट्राइक रेट से 233 विकेट लिए हैं। वे 2 बार मैच में 10 विकेट ले चुके हैं, जो जडेजा के बराबर है लेकिन अश्विन से बेहद कम। शाकिब हर 63वीं बॉल पर विकेट लेते हैं, जो लायन के बराबर है लेकिन अश्विन के मुकाबले बेहद कमजोर।
पिछले कुछ सालों में उनका फॉर्म भी खराब रहा। वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप के 8 मैचों में वह 16 ही विकेट ले सके। मौजूदा सीजन में वह एक भी विकेट नहीं ले सके हैं। बांग्लादेश से होने के कारण शाकिब ने भी अपने ज्यादातर टेस्ट एशिया में ही खेले। एशिया के 48 टेस्ट में वह 170 विकेट ले चुके हैं। 2 मैच में वह औसतन 7 विकेट लेते हैं, जो अश्विन से 3 कम है।
शाकिब भी बैटिंग के मामले में अश्विन से थोड़े बेहतर हैं लेकिन ICC की टेस्ट ऑलराउंडर्स रैंकिंग में अश्विन ही शाकिब से आगे हैं। शाकिब तीसरे और अश्विन दूसरे नंबर पर हैं, जडेजा पहले नंबर पर हैं। बॉलर्स रैंकिंग में अश्विन ही टॉप पर हैं।
भारत और इंग्लैंड के बीच 5 टेस्ट मैचों की सीरीज 25 जनवरी से शुरू हो रही है। पहला मुकाबला हैदराबाद में खेला जाएगा। इसके बाद 2 से 6 फरवरी तक दूसरा टेस्ट, 15 से 19 फरवरी तक तीसरा टेस्ट, 23 से 27 फरवरी तक चौथा टेस्ट और 7 से 11 मार्च तक पांचवां टेस्ट मैच खेला जाएगा