अमेरिका की उप राष्ट्रपति कमला हैरिस (Kamala Harris News) ने कहा कि उनकी पहली नौकरी मां की प्रयोगशाला में इस्तेमाल होने वाली कांच के पिपेट साफ करने की थी. उन्होंने यह बात राष्ट्रीय स्वास्थ्य संस्थान (एनआईएच)के बेथसेडा स्थित मुख्यालय में कोविड-19 टीके की दूसरी खुराक लेने के मौके पर कही.
कैंसर से हुई थी मां की मौत
हैरिस की मां श्यामला गोपालन हैरिस मूल रूप से चेन्नई की थीं और पेशे से स्तन कैंसर रिसर्चर थीं जिनकी मौत वर्ष 2009 में कैंसर से हो गई. हैरिस के पिता जमैकाई मूल के हैं और पेशे से अर्थशास्त्र के प्रोफेसर हैं.
मां के काम के बारे ये बताया उन्होंने कहा, ‘बचपन में हम हमेशा जानते थे कि मां इस स्थान पर जा रही हैं जिसे बेथेसडा कहते हैं. मां बेथसेडा जाती थी…और निश्चित रूप से वह यहां राष्ट्रीय स्वास्थ्य संस्थान आती थी. वह जैवरसायन अंत:स्राविका विभाग में काम करती थी.’
मां के साथ बिताए पल यूं किए याद
अपनी मां की प्रयोगशाला में बिताए गए पलों को याद करते हुए उपराष्ट्रपति ने कहा, ‘वह ‘पीयर रिव्युवर’ थीं. मेरी मां के लिए उनके जीवन के दो लक्ष्य थे. पहला दोनों बेटियों को पालना और दूसरा स्तन कैंसर खत्म करना. यह कम ही लोग जानते है कि मेरी पहली नौकरी मां की प्रयोगशाला में कांच के पिपेट साफ करने की थी. वह हमें स्कूल खत्म होने के बाद और सप्ताहांत वहां लेकर जाती थीं.’