सुबह-सुबह उठने के बाद कई लोग सूरज की रोशनी को एन्जॉय करते हैं. कहा जाता है कि ये विटामिन डी का मुख्य जरिया है. विटामिन डी लोगों की बॉडी के लिए कई तरह के फायदे लेकर आता है. लेकिन अब वैज्ञानिकों ने बताया है कि जिस तरह से सूरज जल रहा है, एक ऐसा दिन आएगा, जब ये सूरज जलकर राख हो जाएगा . वैज्ञानिकों ने इस तारीख का आंकलन सूरज में हो रहे न्यूक्लियर रिएक्शन के हिसाब से किया है.
स्मिथसोनियन एस्ट्रोफिजिकल ऑब्जर्वेटरी , हार्वर्ड कॉलेज ऑब्जर्वेटरी और द सेंटर फॉर एस्ट्रोफिजिक्स के वैज्ञानिकों ने खुलासा किया कि आने वाले 5 बिलियन सालों में सूरज खत्म हो जाएगा. उन्होंने ये भी कैलकुलेट किया कि सूरज असल में अभी अपनी मध्यावस्था में है.इस प्रॉजेक्ट पर काम कर रहे एक काबिल वैज्ञानिक पाओला टेस्टा के मुताबिक़, न्यूक्लियर रिएक्शन के आधार पर ये कैलकुलेशन किया गया है. उन्होंने कहा कि विज्ञान की दुनिया में अभी भी कई सारी बातें सामने नहीं आई है. उन्होंने आगे कहा कि 1930 से पहले ये माना जाता था सूरज की शक्ति ग्रैविटेशनल फ़ोर्स से आती है. लेकिन अब न्यूक्लियर शक्ति के बारे में पता चल गया है. सूरज अपनी न्यूक्लियर एनर्जी के तहत जलता है और जिस दिन ये खत्म हो जाएगा, सूरज भी खत्म हो जाएगा.जिस सूरज को हम शक्ति का मुख्य सोर्स मानते हैं उसे लेकर नासा ने बताया कि भले ही सूरज हमारे सोलर सिस्टम का सेंटर है लेकिन असल में ब्रम्हांड में इससे भी बड़े कई स्टार्स हैं. सूरज से भी 100 गुना बड़े कई स्टार मिल चुके हैं. साइंटिस्ट्स ने बताया कि जिस दिन सूरज खत्म हो जाएगा, उस दिन पृथ्वी का भी अंत हो जाएगा. ऐसा इसलिए कि पृथ्वी की हर चीज अभी अपने सर्वाइवल के लिए सूरज पर निर्भर करती है. लेकिन ऐसा होने में अभी 5 बिलियन साल बाकी हैं. तब तक जाने कौन जिंदा होगा?