कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कपिल सिब्बल ने शुक्रवार को सरकार पर कटाक्ष करते हुए कहा कि देश की अर्थव्यवस्था आईसीयू में है और मोदी सरकार ने उन सभी लोगों के खिलाफ लुक आउट नोटिस जारी किया है जो नागरिक स्वतंत्रता का बचाव कर रहे हैं। उनका सरकार द्वारा लुक आउट नोटिस जारी करने का मतलब पी चिदंबरम में था। जिनके खिलाफ जांच एजेंसी ने नोटिस जारी किया था और फिर उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया। गुरुवार को सीबीाई ने राउज ऐवेन्यू अदालत ने पूर्व गृह और वित्त मंत्री को पेश किया। जहां से उन्हें आईएनएक्स मीडिया में हुए भ्रष्टाचार के मामले में 26 अगस्त तक के लिए सीबीआई की हिरासत में भेज दिया गया है। सिब्बल अदालत में चिदंबरम की तरफ से पेश हुए।
उन्होंने ट्वीट करते हुए कहा, ‘पिछले कुछ हफ्तों की घटनाओं से पता चला है कि अर्थव्यवस्था और स्वतंत्रता दोनों को बचाने की आवश्यकता है। देश की अर्थव्यवस्था आईसीयू में हैं और सरकार उन लोगों के खिलाफ लुक आउट नोटिस जारी कर रही है जो नागरिक स्वतंत्रता का बचाव कर रहे हैं।’ इससे पहले कपिल सिब्बल ने चिदंबरम की गिरफ्तारी पर कहा, ‘कानूनी बिरादरी के सदस्यों के तौर पर यह हमारे लिए बहुत चिंता की बात है। नागरिकों के लिए भी यह चिंता का विषय होना चाहिए। सिब्बल ने इशारों-इशारों में सुप्रीम कोर्ट पर भी सवाल उठाए और कहा कि हम केवल सुनवाई चाहते थे लेकिन पीठासीन न्यायाधीश ने सुनवाई के बदले कहा कि वह मामले की फाइल को मुख्य न्यायाधीश के पास भेज रहे हैं। क्या किसी नागरिक को अपनी बात रखने का अधिकार नहीं है।’
सिब्बल ने आगे कहा कि जब सुप्रीम कोर्ट हैंडबुक के मुताबिक सीजेआई संवैधानिक बेंच में बिजी हैं तो नियम यह है कि दूसरे सबसे वरिष्ठ न्यायाधीश इसकी सुनवाई करें। हमें अपना अधिकार नहीं मिला। रजिस्ट्रार ने बताया कि चीफ जस्टिस शाम 4 बजे इस पर सुनवाई करेंगे। 4 बजे सुनवाई का समय ही नहीं बचता है।