पांच दिन की मान-मनौव्वल और सोनिया गांधी के हस्तक्षेप के बाद कर्नाटक सीएम पद के लिए अड़े डीके शिवकुमार आखिरकार मान गए। सिद्धारमैया कर्नाटक के CM और डीके डिप्टी CM होंगे। देर रात 2 बजे सोनिया गांधी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए डीके से बातचीत की थी। इसके बाद ही वे डिप्टी CM पद के लिए तैयार हुए। 10 घंटे के बाद गुरुवार दोपहर 12 बजे केसी वेणुगोपाल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में इसका औपचारिक ऐलान किया।
इसके बाद गुरुवार रात बेंगलुरु में हुई विधायक दल की बैठक में सिद्धारमैया को विधायक दल का नेता भी चुन लिया गया। नेता चुने जाने के बाद वे राजभवन पहुंचे, जहां राज्यपाल थावरचंद गहलोत से मिलकर सरकार बनाने का दावा पेश किया। शपथ समारोह 20 मई को दोपहर 12.30 बजे बेंगलुरु के कांतिरावा स्टेडियम में होगा।
इससे पहले सुबह डीके शिवकुमार ने कहा, ‘मैं पार्टी के फॉर्मूले पर राजी हूं। आगे लोकसभा चुनाव है और मैं जिम्मेदारियों के लिए तैयार हूं। पार्टी के हित को ध्यान में रखते हुए मैंने सहमति दी है।’ हालांकि डीके के भाई और सांसद डीके सुरेश ने कहा कि मैं पूरी तरह से खुश नहीं हूं।
दरअसल, डीके सीएम बनना चाहते थे, लेकिन आलाकमान पहले ही सिद्धारमैया का नाम तय कर चुका था। इस फैसले पर डीके को राजी करने के लिए राहुल गांधी, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और उनके बीच कई दौर की मीटिंग्स हुईं। हालांकि इनमें कोई नतीजा नहीं निकला था।
केसी वेणुगोपाल ने कहा, ‘पिछले 3-4 दिन से हम कोशिश कर रहे थे कि सबमें सहमति हो जाए। डीके शिवकुमार ने राज्य के कार्यकर्ताओं में ऊर्जा भर दी है। इसमें कोई शक नहीं है। शिवकुमार अध्यक्ष थे और सिद्धारमैया साथ थे। दोनों कर्नाटक में पार्टी के लिए बहुत बड़ा कद रखते हैं।’
‘हां, सबकी अपनी इच्छाएं होती हैं। दोनों बहुत काबिल हैं। हमने हाईकमान से बात की, इन सभी लोगों से बातचीत की। सोनिया, राहुल और प्रियंका के अलावा बाकी वरिष्ठ नेता भी शामिल हुए। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने फैसला लिया। उन्होंने मुझसे कहा कि आप यह आदेश मीडिया के जरिए कर्नाटक की जनता को बताइए। उन्होंने फैसला किया है कि सिद्धारमैया मुख्यमंत्री होंगे। डीके शिवकुमार अकेले डिप्टी सीएम होंगे। वह लोकसभा चुनाव तक पीसीसी अध्यक्ष भी बने रहेंगे।’
20 मई को 12:30 बजे शपथ ग्रहण होगा। मुख्यमंत्री और डिप्टी सीएम के अलावा कुछ मंत्री भी शपथ लेंगे। बता दें कि कांग्रेस ने 13 मई को 224 सीटों में से 135 सीटें जीतकर बहुमत हासिल किया था।कर्नाटक कांग्रेस ने सोनिया गांधी, राहुल गांधी और प्रियंका गांधी वाड्रा को शपथ ग्रहण समारोह का न्योता भेजा है। इसके अलावा छत्तीसगढ़ के CM भूपेश बघेल, राजस्थान के CM अशोक गहलोत, हिमाचल प्रदेश के CM सुखविंदर सिंह सुक्खू, झारखंड के CM हेमंत सोरेन, तमिलनाडु के CM एमके स्टालिन, तेलंगाना के CM के चंद्रशेखर राव, पश्चिम बंगाल की CM ममता बनर्जी, बिहार के CM नीतीश कुमार को भी बुलाया गया है।
सपा प्रमुख अखिलेश यादव, NCP प्रमुख शरद पवार, महाराष्ट्र के पूर्व CM उद्धव ठाकरे, बिहार के डिप्टी CM तेजस्वी यादव, नेशनल कान्फ्रेंस प्रमुख फारूक अब्दुल्ला और ओडिशा के CM नवीन पटनायक को भी आमंत्रित किया गया है।
लोकसभा चुनाव के बाद डीके CM बनेंगे
शिवकुमार 50-50 फॉर्मूले पर राजी हुए हैं। पहले ढाई साल सिद्धारमैया CM रहेंगे और बाद के ढाई साल डीके। यानी डीके लोकसभा चुनाव के बाद 2025 में मुख्यमंत्री बनेंगे। हालांकि तब कर्नाटक का कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष कौन होगा, इसका नाम अभी तय नहीं है।
डीके के भाई डीके सुरेश ने कहा कि मैं पूरी तरह से खुश नहीं हूं, लेकिन कर्नाटक के हित में हम अपनी अपनी प्रतिबद्धता को पूरा करना चाहते हैं… यही वजह है कि डीके ने यह फॉर्मूला स्वीकार कर लिया है…भविष्य में हम देखेंगे, अभी एक लंबा रास्ता तय करना है। मैं डीके शिवकुमार के लिए CM पद चाहता हूं… लेकिन ऐसा नहीं हुआ, हम इंतजार करेंगे और देखेंगे।
कर्नाटक के पूर्व डिप्टी CM जी परमेश्वरा ने कहा कि AICC को आधिकारिक तौर पर घोषणा करने दें कि किसे कौन सा पद देना है और फिर बाकी चीजें आगे बढ़ेंगीं।
पार्टी के सूत्रों के मुताबिक कांग्रेस अध्यक्ष खड़गे शपथ ग्रहण समारोह के लिए विपक्ष के नेताओं को भी इनविटेशन भेजेंगे। राहुल गांधी, सोनिया गांधी और महासचिव प्रियंका गांधी भी बेंगलुरु पहुंचेंगी।
डीके सोनिया से माने, शिमला से वीसी पर जुड़ीं
मल्लिकार्जुन खड़गे ने डीके शिवकुमार पर इस बात के लिए दबाव बनाया कि लोकसभा चुनाव तक वो डिप्टी CM बन जाएं। इसके बाद सोनिया गांधी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए उनसे बात की और उन्हें अभी डिप्टी CM बनने के लिए राजी किया। पढ़ें पूरी खबरबुधवार को पहले इस तरह की खबरें आई थीं कि डीके डिप्टी CM, कर्नाटक प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष और दो मिनिस्ट्री लेकर मान गए हैं। आलाकमान सिद्धारमैया को CM बनाना चाहता है और उन्होंने डीके के सामने तीन फॉर्मूले रखे थे। फिर खबर आई है कि वो किसी पर भी सहमत नहीं हुए। खड़गे से डीके ने साफ कह दिया कि बनाना है तो CM बनाओ, डिप्टी CM नहीं बनूंगा।
सुबह से ही दिल्ली में लिखी जा रही कर्नाटक सरकार की स्क्रिप्ट घंटे दर घंटे बदलती रही। डीके ने हाईकमान से कहा- ‘लोकसभा की 20 से 22 सीटें वे जितवा सकते हैं।’खड़गे और राहुल गांधी के साथ सुबह डीके-सिद्धा की मीटिंग हुई थी, लेकिन एकराय नहीं बन सकी। बेंगलुरु में चल रही शपथ ग्रहण की तैयारियां रोक दी गईं। इससे पहले डीके ने कहा था कि अगर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को मुख्यमंत्री बनाया जाता है तो उनकी लीडरशिप में काम करने को तैयार हैं।
बुधवार रात करीब रात में दस बजे सिद्धारमैया ने कांग्रेस के कर्नाटक प्रभारी रणदीप सिंह सुरजेवाला के दिल्ली स्थित घर में मुलाकात की। दोनों नेताओं ने मौजूदा हालात पर चर्चा की है
राहुल गांधी ने बुधवार रात को दूसरी बार सिद्धा-डीके के साथ बैठक की। इसमें खड़गे भी मौजूद रहे। अंदर क्या बातें हुईं ये तो पता नहीं चला, लेकिन इसी बैठक के बाद बेंगलुरु में समर्थकों को फोन करके गुरुवार को दिल्ली आने के लिए कहा गया।दिल्ली में डीके शिवकुमार अपने समर्थकों के साथ मीटिंग कर रहे हैं। समर्थकों से उनकी राय पूछी जा रही है, क्योंकि सरकार बनने के बाद उन्हें भी मंत्रालयों में एडजस्ट करना होगा। हालांकि सोर्स ने ये कन्फर्म किया है कि डीके किसी भी हाल में बगावत नहीं करेंगे। वे अपनी कुछ शर्तों के साथ अगले 2 से 3 घंटे में सिद्धारमैया के नाम पर सहमत हो सकते हैं।
कर्नाटक कांग्रेस के इंचार्ज रणदीप सुरजेवाला मीडिया के सामने आए और बोले कि 48 से 72 घंटे में कैबिनेट का गठन हो जाएगा। अभी कोई आखिरी फैसला नहीं लिया गया है। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे बातचीत कर रहे हैं। इसी बीच यह खबर सामने आई कि अब डीके शिवकुमार को मनाने की जिम्मेदारी प्रियंका गांधी को सौंप दी गई है। वे शाम को डीके से बात करेंगीं।
डीके शिवकुमार की कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे से बात हुई। उनके सामने यह प्रपोजल भी रखा गया कि दो साल सिद्धारमैया को सीएम बना देते हैं इसके बाद उन्हें सीएम बना दिया जाएगा, लेकिन इस शर्त पर भी डीके राजी नहीं हुए।
डीके यह भी नहीं चाहते कि कर्नाटक में तीन डिप्टी सीएम बनाए जाएं। उनका मानना है कि इससे डिसीजन नहीं लिए जा सकेंगे और गुटबाजी बढ़ जाएगी। 50:50 के फॉर्मूले पर उनका मानना है कि इससे कर्नाटक में राजस्थान जैसे हालात बन सकते हैं।शिवकुमार के समर्थक राहुल गांधी के रेसिडेंस के सामने जुट गए और उन्हें सीएम बनाए जाने के लिए नारे लगाने लगे। इधर सिद्धारमैया समर्थकों ने जश्न मनाना शुरू कर दिया। उनके पोस्टरों पर दूध चढ़ाया जाने लगा।
कुरुबा कम्युनिटी के लोगों ने भी बधाई देनी शुरू कर दी। इधर वोक्कालिगा कम्युनिटी के लोग बेंगलुरु में ही सिद्धारमैया को सीएम बनाए जाने का विरोध करते नजर आए।
सिद्धारमैया के बाद डीके शिवकुमार राहुल गांधी से मिलने पहुंचे। आधे घंटे बाचतीत हुई। सोर्सेज के मुताबिक, राहुल ने डीके के सामने तीन फॉर्मूले रखे। उन्हें कहा गया कि लोकसभा इलेक्शन को देखते हुए सिद्धारमैया को सीएम रहना चाहिए। वो डिप्टी CM, KPCC प्रेसिडेंट के साथ ही दो बड़े पोर्टफोलियो ले सकते हैं।
उनकी पसंद के विधायकों को मंत्री बनाया जाएगा। वो पावरफुल बने रहेंगे, लेकिन डीके किसी बात पर नहीं माने। उन्होंने कहा कि वे सिद्धारमैया को CM बनते नहीं देखना चाहते। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को CM बना दीजिए। उनकी लीडरशिप में काम करने को तैयार हैं
बुधवार सुबह 11 बजे रहे थे। कांग्रेस आलाकमान ने कर्नाटक में सरकार बनाने का फॉर्मूला तय कर लिया था। सिद्धारमैया का नाम CM पद के लिए फाइनल था। डीके शिवकुमार को डिप्टी CM, दो मंत्रालय और KPCC प्रेसिडेंट बनाया जाना तय किया गया था।
सिद्धारमैया भी इस फॉर्मूले पर तैयार थे। जैसे ही खबर बाहर आई उनके समर्थकों ने जश्न मनाना भी शुरू कर दिया। राहुल गांधी से मुलाकात के बाद सिद्धारमैया अपने समर्थकों के साथ होटल लौट गए।
CM पद को लेकर पिछले चार दिनों से बेंगलुरु से लेकर दिल्ली तक कई बैठकें हुईं। सिद्धारमैया रेस में सबसे आगे चल रहे थे। इससे पहले रविवार को भी कांग्रेस विधायक दल की बैठक में सभी MLA ने नेता चुनने के लिए खड़गे को अधिकृत किया था। इसके बाद कांग्रेस अध्यक्ष ने ऑब्जर्वर्स से सभी विधायकों से वन-टु-वन बात करने को कहा था। इनमें 80 से ज्यादा विधायकों ने सिद्धारमैया के फेवर में वोट किया था।
डीके शिवकुमार ने मंगलवार सुबह बेंगलुरु में कहा, ‘हम सब एक हैं। हम 135 हैं। मैं किसी को डिवाइड नहीं करना चाहता। वे भले ही मुझे पसंद करें या नहीं। मैं एक जिम्मेदार व्यक्ति हूं। मैं धोखा नहीं दूंगा और ना ही ब्लैकमेल करूंगा। हमने कांग्रेस पार्टी को बनाया, हमने इस घर को बनाया। मैं इसका हिस्सा हूं।’
उन्होंने कहा, ‘एक मां अपने बच्चे को सब कुछ देती है। सोनिया गांधी हमारी आदर्श हैं। कांग्रेस हर किसी के लिए परिवार की तरह है। हमारा संविधान बेहद महत्वपूर्ण है और हमें सभी के हितों की रक्षा करनी है। लोकसभा में 20 सीट जीतना हमारा अगला लक्ष्य है।’ 13 मई को चुनाव का परिणाम आने के बाद से अब तक कांग्रेस CM का ऐलान नहीं कर सकी है