थाईलैंड में 14 मई को जनरल इलेक्शन होने वाले हैं। प्रधानमंत्री पद की रेस में शामिल नेताओं में 36 साल की पेइतोनगर्न शिनवात्रा का दावा सबसे मजबूत माना जा रहा है। देश में उन्हें प्यार से उंग इंग के नाम से पुकारा जाता है।
देश में चुनाव हैं और इसी दौरान शिनवात्रा प्रेग्नेंट भी थीं। इसके बावजूद वो एक्टिवली कैम्पेनिंग करती रहीं। अब तक जारी सर्वे में उनकी फेयू थाई पार्टी को जीत का सबसे मजबूत दावेदार बताया जा रहा है। इसी पार्टी ने ऑफिशियली उन्हें प्रधानमंत्री पद का दावेदार बनाया है।
माना जा रहा है कि 500 सदस्यों वाली संसद में शिनवात्रा की पार्टी को ही सबसे ज्यादा सीटें मिलेंगी और वो प्रधानमंत्री बनेंगी। अब ये देखने वाली बात है कि मिलिट्री के समर्थन वाली पार्टियां जीत हासिल करती हैं या उंग इंग की पार्टी जीतती है।
2006 में उंग के पिता थाक्सिन शिनवात्रा और 2014 में उनकी चाची यिंगलक की सरकार को सैन्य तख्तापलट के जरिए हटा दिया गया था। अब इस परिवार की तीसरी पीढ़ी को सत्ता का सबसे मजबूत दावेदार माना जा रहा है।
उंग के पिता पहले पुलिस अफसर थे। बाद में टेलिकॉम इंडस्टी शुरू की और देखते ही देखते देश के सबसे अमीर शख्स बन गए। इसके बाद वो सियासत में उतरे और 2001 में बड़ी जीत के साथ प्रधानमंत्री बने। उन्होंने फ्री हेल्थकेयर और गांवों के विकास में जबरदस्त काम किए। यही वजह थी कि 2005 में जब दूसरी बार इलेक्शन हुए तो भी उन्हें जबरदस्त जीत मिली।
1932 के बाद यह पहला मौका था जब किसी प्रधानमंत्री ने एक नहीं बल्कि दो-दो टर्म पूरे किए। बहरहाल, फौज थाक्सिन की कामयाबी से बेहद नाखुश थी और यही वजह है कि 2006 में उन्हें तख्तापलट के जरिए कुर्सी से उतार दिया गया।
2008 में थाक्सिन ने देश छोड़ा और परिवार समेत लंदन और दुबई में रहने लगे। फौज ने उन पर कर्ई तरह के आरोप लगाए थे और उन्हें जेल में डालने की तैयारी थी। बेटी उंग के दूसरी बार मां बनने पर थाक्सिन ने सोशल मीडिया पर कहा- सातवीं बार दादा बना हूं। दुख की बात यह है कि मेरे परिवार में यह सातवां बच्चा है और हर बार मैं देश से बाहर था। उन्मीद है कि जुलाई में जब मैं 74 साल का हो जाउंगा तब शायद सभी बच्चों को देख सकूंगा
थाईलैंड में चर्चा है कि उंग के पिता थाक्सिन को माफी देकर देश लौटने की मंजूरी दी जा सकती है। वर्तमान प्रधानमंत्री प्रयुथ चानओचा ने इसका विरोध नहीं किया है। उंग की पार्टी ने कई चुनावी वादे किए हैं। इनमें देश को इकोनॉमी को जल्द से जल्द पटरी पर लाने और कर्मचारियों की तनख्वाह बढ़ाना शामिल है।
थाईलैंड में आमतौर पर चुनाव शांतिपूर्ण तरीके से होते हैं, लेकिन इस बार उंग की लोकप्रियता को देखते हुए माना जा रहा है कि फौज चुनावी हिंसा खुद करा सकती है। इसके लिए फौज ने एक यूथ ब्रिगेड का इस्तेमाल भी शुरू कर दिया है। ये शिनवात्रा का विरोध कर रहे हैं।