महाराष्ट्र के मंत्री और वरिष्ठ शिवसेना नेता गुलाबराव पाटिल के अपने विधानसभा क्षेत्र जलगांव जिले की सड़कों की तुलना अभिनेत्री हेमा मालिनी के गाल से करने पर विवाद खड़ा हो गया है। राज्य महिला आयोग ने कड़ा रुख अपनाते हुए मंत्री से अपने बयान पर माफी मांगने को कहा। आयोग की कानूनी कार्रवाई की चेतावनी के बाद पाटिल ने माफी मांग ली। पाटिल की कथित टिप्पणी का वीडियो इंटरनेट मीडिया पर वायरल हो गया है। मंत्री ने हाल ही में जिले के बोधवाड़ नगर पंचायत चुनाव के दौरान एक चुनावी बैठक को संबोधित करते हुए विवादित टिप्पणी की।
अपने भाषण के दौरान पाटिल ने अपने विरोधियों को उनके विधानसभा क्षेत्र का दौरा कर वहां अच्छी गुणवत्ता की सड़कें देखने को कहा। कई वर्षों तक जलगांव सीट से विधायक रहे भाजपा के पूर्व नेता एकनाथ खडसे पर निशाना साधते हुए राज्य के जलापूर्ति मंत्री पाटिल ने कहा, ‘जो 30 वर्षो तक विधायक रहे, उन्हें मेरे विधानसभा क्षेत्र में आकर सड़कों को देखना चाहिए। अगर ये हेमा मालिनी के गाल जैसी नहीं हैं तो मैं इस्तीफा दे दूंगा’ राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष रूपाली चाकणकर ने मंत्री पाटिल की टिप्पणी को संज्ञान में लिया और टिप्पणी के लिए माफी नहीं मांगने पर उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की चेतावनी दी।
हालांकि, महाराष्ट्र राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष रूपाली चाकणकर ने टिप्पणी का संज्ञान लिया और मंत्री को सार्वजनिक रूप से माफी नहीं देने पर कानूनी कार्रवाई की चेतावनी दी। आयोग ने टिप्पणी पर संज्ञान लिया है। चाकणकर ने एक वीडियो बयान में कहा कि यदि मंत्री माफी नहीं मांगते हैं, तो उन्हें कानूनी कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा। चेतावनी के कुछ घंटे बाद पाटिल ने अपने बयान के लिए माफी मांगी। धुले में पत्रकारों से बात करते हुए मंत्री ने कहा कि मेरा मतलब किसी को चोट पहुंचाने का नहीं था। मैं टिप्पणियों के लिए क्षमा चाहता हूं। मैं शिवसेना से संबंधित हूं, जो छत्रपति शिवाजी महाराज की मूर्ति है। पार्टी के संस्थापक बालासाहेब ठाकरे ने हमें महिलाओं का सम्मान करना सिखाया है।