बॉलीवुड सुपरस्टार शाहरुख़ खान (Shah Rukh Khan) के बेटे आर्यन खान (Aryan Khan Drug Case) से जुड़े मामले में लगातर NCB और बीजेपी पर सवाल उठाए जा रहे हैं. महाराष्ट्र कैबिनेट के मंत्री नवाब मलिक के बाद अब उद्धव के एक और मंत्री छगन भुजबल ( Minister Chhagan Bhujbal ) ने शनिवार को आर्यन केस को लेकर बीजेपी पर हमला बोला. छगन भुजबल ने शनिवार को कहा कि ”अगर बॉलीवुड अभिनेता शाहरुख खान भगवा पार्टी में शामिल होते हैं तो “ड्रग्स चीनी का पाउडर बन जाएगा.” इससे पहले नवाब मलिक भी आर्यन के केस इंचार्ज समीर वानखेड़े पर गंभीर सवाल खड़े कर चुके हैं.
आर्यन खान को नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) ने गिरफ्तार किया था और जमानत याचिका खारिज होने के बाद फिलहाल वह न्यायिक हिरासत में आर्थर रोड जेल में बंद हैं. एनसीपी नेता गन भुजबल ने कहा कि गुजरात के मुंद्रा बंदरगाह पर जब्त 3,000 किलोग्राम हेरोइन के मामले की जांच करने के बजाय, एनसीबी शाहरुख खान का पीछा कर रहा था. भुजबल ने राज्य के बीड जिले में एक सार्वजनिक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए चुटकी लेते हुए कहा, ”अगर शाहरुख खान भाजपा में शामिल होते हैं तो ड्रग्स चीनी पाउडर बन जाएंगे.”
26 अक्टूबर को आर्यन की बेल पर हाईकोर्ट में सुनवाई
इस मामले में आरोपी आर्यन खान, मर्चेंट और धमेचा ने जमानत के लिए बॉम्बे हाईकोर्ट का रुख किया है और उनकी याचिकाओं पर 26 अक्टूबर को सुनवाई होगी. आर्यन खान फिलहाल मध्य मुंबई की आर्थर रोड जेल में बंद हैं. इससे पहले एनडीपीएस अदालत ने उनके दोस्त अरबाज मर्चेंट और फैशन मॉडल मुनमुन धमेचा की जमानत याचिका खारिज कर दी थी. तीनों को जमानत देने से इनकार करते हुए, विशेष अदालत ने कहा था कि आर्यन खान के व्हाट्सएप चैट से प्रथम दृष्टया पता चलता है कि वह नियमित आधार पर अवैध ड्रग गतिविधियों में लिप्त थे और वह ड्रग पेडलर्स के संपर्क में थे. अदालत ने यह भी माना कि आर्यन खान जानते थे कि उनके दोस्त और सह-आरोपी अरबाज मर्चेंट के पास ड्रग्स हैं.
योगगुरु रामदेव ने भी दी प्रतिक्रिया
उधर आर्यन केस पर बाबा रामदेव ने शनिवार को कहा कि नशे के विनाशकारी तंत्र को भारत की युवा पीढ़ी के लिए घातक कहा है. उन्होंने कहा कि जिन्हें लोग रोल मॉडल मानते हैं, वे लोग नशे के चक्कर में फंस रहे हैं. इससे लोगों को गलत प्रेरणा मिलती है. बाबा रामदेव ने कहा कि, ‘सारी इंडस्ट्री को मिल कर अपना कचरा साफ करना चाहिए, नहीं तो यह उनके लिए (बॉलिवुड इंडस्ट्री) भी खतरनाक और आत्मघाती होगा.
इससे पहले केंद्रीय सामाजिक न्याय और अधिकारिता राज्यमंत्री रामदास आठवले (Ramdas Athawale) ने भी इस मामले में कहा था- “राष्ट्रीय जांच एजेंसियों की ओर से राज्य में कार्रवाइयां होने के बावजूद शरद पवार के परिवार या किसी और को परेशान करने का कोई मकसद नहीं है. ये एजेंसियां पूरी तरह से स्वतंत्र हैं. इनकी कार्रवाइयों में केंद्र सरकार के हस्तक्षेप का कोई सवाल ही नहीं उठता.”