कोरोना काल में हो रहे आसियान बैठक को पीएम नरेंद्र मोदी ने संबोधित किया है। उन्होंने अपने संबोधन में भारत और आसियान की महत्ता को रेखांकित किया। पीएम ने कहा कि आसियान के साथ रिश्ता हमेशा से भारत की ऐक्ट ईस्ट पॉलिसी की भावना के अनुरुप रहा है। वे 17 वें आसियान-भारत शिखर बैठक को संबोधित कर रहे थे।
मालूम हो कि पीएम मोदी के साथ वियतनाम के प्रधानमंत्री गुयेन जुआन इस बैठक की सह-अध्यक्षता कर रहे हैं। पीएम ने अपने संबोधन में इस बात पर जोर दिया कि भारत और आसियान के बीच आर्थिक, सामाजिक, डिजिटल, वित्तीय और समुद्री हर प्रकार के संपर्क को बढ़ाना हमारे लिए एक प्रमुख प्राथमिकता है। उन्होंने कहा कि हाल के वर्षों में भारत और आसियान के बीच दूरियां घटी है।
बता दें कि कोरोना के कारण इस बार आसियान शिखर सम्मेलन वर्चुअली हो रहा है। पीएम ने कहा कि कोरोना काल में वियतनाम ने कोरोना महामारी से उत्पन्न चुनौतियों का बखूबी सामना किया इसके लिये उन्होंने धन्यवाद भी दिया। प्रत्येक दो साल पर होने वाले आसियान बैठक का इस बार वियतनाम अध्यक्ष है। माना जा रहा है कि इस सम्मेलन में दक्षिण चीन सागर विवाद, कोरोना वायरस महामारी और कारोबार सहित विभिन्न मुद्दों पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा। आसियान दक्षिण-पूर्व एशियाई देशों का एक संगठन है। इस संगठन में ब्रुनेई, कम्बोडिया, इंडोनेशिया, लाओ पीडीआर, मलेशिया, म्यांमार, फिलीपींस, सिंगापुर, थाइलैंड और वियतनाम सदस्य देश हैं।