देश में पिछले 24 घंटों में कोरोना विषाणु ‘कोविड-19’ संक्रमण के 43 नये मामले सामने आए हैं और चार मरीजों की मौत होने के साथ मृतकों का आंकड़ा बढ़कर 13 हो गया है। देश में कोरोना वायरस के कुल पाजिटिव मामलों की संख्या 649 हो गई हैं और इनमें 602 भारतीय नागरिक तथा 47 विदेशी हैं।
स्वास्थ्य मंत्रालय में संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने गुरुवार को यहां संवाददाता सम्मेलन में कोरोना महामारी के बारे जानकारी देते कहा कि सरकार का ध्यान कोरोना वायरस मरीजों के बेहतर इलाज, विदेशों से आए मरीजों के क्वारंटीन का पूरी तरह पालन कराने और इनके संपर्क में आए लोगों की निगरानी करना है तथा इसके बेहतर नतीजे भी दिखने शुरू हो गए हैं।
उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार के आग्रह पर विभिन्न राज्यों ने कोरोना वायरस समर्पित अस्पतालों को बनाने का काम शुरू कर दिया है और अब तक कोरोना वायरस के उपचार के लिए 17 राज्यों में अस्पतालों का काम शुरू हो चुका है। उन्होंने कहा कि इस बीमारी से बचाव के लिए सामाजिक दूरी बहूत अच्छा कदम साबित हो सकता है और अगर लॉकडाउन के दौरान इसका पूरी तरह पालन कर लिया जाता है जो इस बीमारी के विषाणु के प्रसार की चैन को काफी हद तक नियंत्रित किया जा सकता है। श्री अग्रवाल ने कहा कि हालांकि कोरोना वायरस के काफी मामले सामने आ रहे हैं लेकिन इनका रुझान देखा जाए तो इसमें कमी महसूस की जा सकती है और इसकी रफ्तार को देखते हुए थोड़ा संतोषजनक कहा जा सकता है लेकिन हम इससे निपटने के लिए कोई लापरवाही नहीं बरतेंगे।
उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री ने लॉकडाउन की जो घोषणा की है उसका हम सभी को पालन करना होगा और यह व्यक्ति से लेकर समाज की जिम्मेदारी है और इस हालत में किसी एक नागरिक की गलती सबके लिए काफी गंभीर हो सकती है। उन्होंने एक सवाल के जवाब में बालीवुड अभिनेता अमिताभ बच्चन के उस ट्वीट को गलत बताया कि जिसमें कहा गया था कि कोरोना वायरस की बीमारी मक्खियों द्वारा भी फैलती है।
आम जनता को आश्वस्त करते हुए श्री अग्रवाल ने कहा कि भारत कोरोना वायरस की चुनौती के निपटने के लिए पूरी तरह तैयार है और सामाजिक दूरी बनाकर कोरोना वायरस के प्रसार की चैन को शत-प्रतिशत तोड़ा जा सकता है।
गृह मंत्रालय की संयुक्त सचिव पुण्य सलिला श्रीवास्तव ने बताया कि लॉकडाउन के दौरान आवश्यक वस्तुओं और सेवा उत्पादन, आपूर्ति और उनके वितरण को सुनिश्चित करने के लिए केन्द्र सरकार हर संभव कदम उठा रही है और आज कैबिनेट सचिव ने सभी राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों के मुख्य सचिवों को साथ वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए स्थिति की पूरी जानकारी ली।
उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार का एक नियंत्रण कक्ष 24 घंटें काम कर रहा है और इसमें गृह मंत्रालय के अलावा नागर विमानन मंत्रालय, उपभोक्ता मंत्रालय और राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन विभाग के शीर्ष अधिकारी लगातार मामलों पर नजर रखे हुए हैं। राज्यों को इस बात के निर्देश भी दिए गए हैं कि उनके यहां जो भी प्रवासी श्रमिक इस दौरान रुके हुए हैं, उन्हें भोजन और आश्रय प्रदान करने की दिशा में तत्काल कारगर कदम उठाए जाएं। सभी राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों ने अपने यहां हेल्पलाइन को अधिसूचित कर दिया है और पूर्वोतर राज्यों में आवश्यक वस्तुओं और दवाओं के भेजे जाने पर भी ध्यान दिया जा रहा है।